महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लगना दुर्भाग्यपूर्ण, सीएम देवेंद्र फडणवीस का बयान

महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लागू हो चुका है जो अगले 6 महीनों तक लागू रहेगा. इस बीच बीजेपी नेता नारायण राणे ने कहा कि मुझे लगता है कि एनसीपी और कांग्रेस मिलकर शिवसेना को बेवकूफ बना रहे हैं

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Aditi Sharma
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महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लगना दुर्भाग्यपूर्ण, सीएम देवेंद्र फडणवीस का बयान

महाराष्ट्र के पूर्व सीएम देवेंद्र फडणवीस( Photo Credit : फाइल फोटो)

महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री और बीजेपी विधायक दल के नेता देवेंद्र फडणवीस ने राज्य में राष्ट्रपति शासन लागू किए जाने को मंगलवार को दुर्भाग्यपूर्ण बताया. उन्होंने कहा कि जनता ने महायुति(महागठबंधन) के पक्ष में स्पष्ट जनादेश दिया था, मगर सरकार न बनने के कारण राष्ट्रपति शासन लगा, जो दुर्भाग्यपूर्ण है. हालांकि, फडणवीस ने राज्य को जल्द स्थिर सरकार मिलने की आशा जताई. देवेंद्र फडणवीस ने राज्य में राजनीतिक अस्थिरता से होने वाले खतरों की तरफ आगाह किया. उन्होंने कहा कि राजनीतिक अस्थिरता से निवेश पर बुरा असर पड़ सकता है. सरकार के दैनिक कामकाज पर असर पड़ने से जनता को परेशानी हो सकती है. बेमौसम बारिश से परेशान किसानों के सामने संकट और गहरा सकता है. फडणवीस ने यह भी कहा कि उम्मीद है कि राज्य के हालात पर सभी दल विचार करते हुए स्थिर देने की दिशा में आगे बढ़ेंगे.

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बता दें, महाराष्ट्र में राष्ट्रपति शासन लागू हो चुका है जो अगले 6 महीनों तक लागू रहेगा. इस बीच बीजेपी नेता नारायण राणे ने कहा कि मुझे लगता है कि एनसीपी और कांग्रेस मिलकर शिवसेना को बेवकूफ बना रहे हैं. उन्होंने आगे कहा कि बीजेपी जल्द सरकार बनाएगी. देवेंद्र फडणवीस इस दिशा में पूरी कोशिश में लगे हुए हैं.

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वहीं पार्टी की कोर कमेटी की बैठक के बाद बीजेपी नेता सुधीर मुगंटीवार ने कहा कि राष्ट्रपति शासन की हमें उम्मीद नहीं थी. हम यह सुनिश्चित करने का प्रयास करेंगे कि लोगों के जनादेश का सम्मान किया जाए. हम स्थिर सरकार बनाने की कोशिश करेंगे. हम राज्य के लोगों द्वारा खड़े होंगे.

बता दें कि महाराष्ट्र में शिवसेना और बीजेपी की राहें अलग-अलग हो गई हैं. 50-50 का फार्म्यूला नहीं मानने की वजह से शिवसेना बीजेपी से नाराज है. बीजेपी से अलग होकर शिवसेना, एनसीपी और कांग्रेस की तरफ उम्मीद लगाकर बैठी है.

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इधर, राष्ट्रपति शासन लागू होने के बाद कांग्रेस और एनसीपी के सीनियर नेताओं के बीच बैठक हुई. हालांकि इस दौरान कोई ठोस नतीजा नहीं निकला. एनसीपी ने कहा कि उनके पास अभी वक्त है, वो कांग्रेस के साथ शिवसेना को समर्थन देने के लिए बातचीत करेंगे. एनसीपी प्रमुख शरद पवार ने कहा कि वो महाराष्ट्र में दोबारा चुनाव नहीं चाहते हैं.

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