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अजित पवार
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मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेता तानाजी सावंत ने प्रदेश के डिप्टी सीएम पर विवादित टिप्पणी की है. इस बयान के बाद एनसीपी और शिवसेना के रिश्ते में दरार की आशंका जताई जा रही है.
अजित पवार
अक्टूबर महीने में महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव होने वाला है, उससे पहले लगता है महायुति में सबकुछ ठीक नहीं है. महाराष्ट्र में सियासी हलचलों के साथ ही बयानबाजी तेज हो चुकी है. इस बीच मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के नेता तानाजी सावंत ने प्रदेश के डिप्टी सीएम पर विवादित टिप्पणी की है. इस बयान के बाद एनसीपी और शिवसेना के रिश्ते में दरार की आशंका जताई जा रही है. दरअसल, तानाजी सावंत ने एनसीपी नेता अजित पवार को लेकर कहा कि वह उन्हें बर्दाश्त नहीं कर पा रहे हैं और उनके बगल में जब भी बैठते हैं तो उन्हें उल्टी आती है.
इतना ही नहीं उन्होंने यहां तक कह दिया कि मैं एक कट्टर शिव सैनिक हूं और मैं जब छात्र था, तब से ही कभी कांग्रेस और एनसीपी के साथ तालमेल नहीं बैठा पाया. यह एक हकीकत है. हालांकि अभी शिवसेना और एनसीपी गठबंधन की सरकार में है, लेकिन मैं जब भी अजित पवार के बगल में बैठता हूं तो मुझे बाहर निकलने के बाद उल्टी आती है. मैं उन्हें बर्दाश्त नहीं कर सकता हूं.
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वहीं. शिवसेना नेता के विवादित बयान के बाद एनसीपी (अजित पवार) के नेता अमोल मिटकरी ने पलटवार करते हुए कहा कि स्वास्थ्य मंत्री को पहले अपनी बीमारी के बारे में समझना चाहिए और फिर उसका इलाज कराना चाहिए. यह सिर्फ हमारी जिम्मेदारी नहीं है कि हम गठबंधन को बनाए रखें. अगर स्वास्थ्य मंत्री होते हुए भी उन्हें नहीं पता है कि क्यों उल्टी हो रही है, तो यह एकनाथ शिंदे ही हमें बता सकते हैं कि इसकी वजह क्या है. वहीं, अब तक तानाजी के इस बयान पर शिवसेना की तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है.
तानाजी सावंत ने इस तरह का विवादित बयान पहली बार नहीं दिया है, बल्कि इससे पहले भी वह इस तरह की टिप्पणी कर चुके हैं. 2022 में रत्नागिरी में जिले में बांध टूटने का जिम्मेदारा तानाजी ने केकड़ों को ठहराया था. इसके अलावा तानाजी का एक वीडियो काफी वायरल हुआ था, जिसमें वह एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी पर एक पुलिस निरीक्षक का तबादला करने का दबाव बना रहे थे.