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Dhoni के कड़कनाथ भी हुए क्वारंटीन, इस राज्य में भी मंडराया बर्ड फ्लू का खतरा

बर्डफ्लू की आशंका ने कड़कनाथ को लेकर प्रशासन सतर्क हो गया. वही झाबुआ में कड़कनाथ में बर्डफ्लू की पुष्टि के बाद जिले के कड़कनाथ पालन केंद्रों पर एतिहात बरती जा रही है. इन केंद्रों पर नियमित पशु चिकित्सा विभाग के डॉक्टर्स निरीक्षण करने जा रहे है तथा उनकी

Updated on: 15 Jan 2021, 07:17 PM

नई दिल्ली:

प्रदेश भर में बर्ड फ्लू के सामने आते मामलों के बीच सागर जिले में भी प्रशासन ऐतिहात बरत रहा है जिले वर्ड फ्लू की आशंका बनी हुई है. इसके चलते लोगो मे दहशत का माहौल है. पिछले कुछ महीनो से कड़कनाथ की फार्मिंग प्रशासन करा रहा है. आजीविका मिशन के तहत 500 कड़कनाथ के चूजे लाये गए थे. जो अब विकसित हो चुके है. करीब 200 अंडे दे चुके है. नए चूजों आने वाले है .

बर्डफ्लू की आशंका ने कड़कनाथ को लेकर प्रशासन सतर्क हो गया. वही झाबुआ में कड़कनाथ में बर्डफ्लू की पुष्टि के बाद जिले के कड़कनाथ पालन केंद्रों पर एतिहात बरती जा रही है. इन केंद्रों पर नियमित पशु चिकित्सा विभाग के डॉक्टर्स निरीक्षण करने जा रहे है तथा उनकी सलाह से यहां चूने का छिड़काव किया जा रहा है तथा इन मुर्गे मुर्गियों को खानेपीने में दवाई आदि दी जा रही है. वही इन पालन केंद्रों की व्यवस्थाएं चाक चौबंद कर दी गई है यहां देखरेख करने वाले के अलावा अन्य व्यक्तियों का प्रवेश निषेध कर दिया गया है तथा मुर्गी पालन केंद्र के बाहर वह सभी व्यवस्थाएं की गई है ताकि कड़कनाथ किसी भी प्रकार के बाहरी संक्रमण से बचे रहें. 

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कोरोना काल में बढ़ी कड़कनाथ की मांग
आपको बता दें कि मध्य प्रदेश के निमाड़ क्षेत्र के आदिवासी बाहुल्य इलाकों में पाए जाने वाले कड़कनाथ मुर्गा रोग प्रतिरोधिक क्षमता बढ़ाने में मददगार है. कोरोना काल में लोगों द्वारा रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए तरह-तरह के तरीके अपनाए जा रहे हैं और इसी के चलते कड़कनाथ मुर्गो की मांग भी बढ़ गई है. प्रदेश का प्रसिद्ध कड़कनाथ मुर्गा रोग प्रतिरोधक क्षमता के साथ कम वसा, प्रोटीन से भरपूर, हृदय-श्वास ओर एनीमिक रोगी के लिए लाभकारी है.

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मध्य प्रदेश के कड़कनाथ बढ़ाते हैं इम्यूनिटी
कोरोना काल में लोगों का खास ध्यान रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने पर है. इसी के चलते इनकी मांग भी बढ़ी है और इसे देखते हुए राज्य शासन ने इसके उत्पादन और विक्रय को बढ़ाने के लिये विशेष योजना तैयार की है. इससे कुक्कुट पालकों की आय में भी इजाफा होगा. कड़कनाथ का शरीर, पंख, पैर, खून, मांस सभी काले रंग का होता है. कड़कनाथ को पशुधन एवं कुक्कुट विकास निगम के अधिकृत विक्रेता चिकन पार्लर पर उपलब्ध कराया गया है.

आपको बता दें कि मशहूर क्रिकेटर और भारतीय टीम के पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धौनी भी कड़कनाथ के मुर्गों का फॉर्महाउस झारखंड में खोल चुके हैं.