बुंदेलखंड की अयोध्या कहे जाने वाले ओरछा में स्थित रामराजा के मंदिर में दर्शन के लिए श्रद्धालु को ऑनलाइन बुकिंग कर टिकट लेना हागा, उसके बाद ही दर्शन कर सकेगा. इसके लिए किसी तरह का शुल्क नहीं लगेगा.
मध्यप्रदेश के निवाड़ी जिले में स्थित है ओरछा. यहां रामराजा मंदिर का मंदिर है. कोरोना महामारी के संक्रमण को लेकर उठाए गए एहतियाती कदमों के चलते यहां दर्शन को बंद कर दिया गया था, लेकिन यहां नियमित पूजा हो रही है. आठ जून से मंदिर में दर्शन की शुरुआत होने रही है, मगर किसी तरह की भीड़ न हो, केंद्र सरकार और राज्य सरकार के दिशानिर्देश का उल्लंघन हो इसके लिए प्रशासन ने कुछ खास इंतजाम किए है.
और पढ़ें: हनी ट्रैप मामला : HC ने इंदौर नगर निगम के अधिकारी का निलंबन रद्द किया, वेतन बहाली के आदेश
निवाड़ी के जिलाधिकारी अक्षय कुमार सिंह ने शुक्रवार को बताया कि मंदिर में कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए सोशल डिस्टेंसिंग का पालन तो किया ही जाएगा, यहां आने वाले हर दर्शनार्थी का तापमान लिए जाएगा. वहीं सैनिटाइजेशन की व्यवस्था रहेगी और दर्शनार्थी को मास्क का इस्तेमाल आवश्यक रूप से करना होगा.
सिंह ने आगे बताया, 'मंदिर में भीड़ न बढ़े इसके लिए ऑनलाइन बुकिंग कर टिकट हासिल करना होगा. दर्शनार्थी को ऑनलाइन आवदेन करना होगा कि उसे किस दिन और किस समय दर्शन करने आना है, उसी आधार पर उसे टिकट जारी किया जाएगा. मंदिर में प्रवेश के समय ही दर्शनार्थी के परिचयपत्र के जरिए उसका मिलान किया जाएगा.'
मंदिर में दर्शन के एवज में दर्शनार्थी से किसी तरह का शुल्क लिया जाएगा तो सिंह का कहना था, 'दर्शनार्थी से किसी तरह के शुल्क का प्रावधान नहीं किया गया है, मगर ऑनलाइन टिकट लेते वाले आवेदन में एक कॉलम दान का भी है. भारतीय परंपराओं के अनुसार, लोग दान में भरोसा करते हैं, इसलिए यह प्रावधान किया गया है. दर्शनार्थी ऑनलाइन टिकट के लिए आवदेन करते वक्त दान भी कर सकेगा.'
स्थानीय जानकार बताते हैं कि ओरछा के 500 वर्ष के इतिहास में पहली बार श्रीरामराजा मंदिर में 17 मार्च से दर्शनार्थियों का प्रवेश प्रतिबंध था. कोरोना को लेकर सतर्कता बरतते हुए नगर के ऐतिहासिक स्मारक व मंदिर को राज्य पुरातत्व विभाग के आदेश पर बंद थे. 85 दिन बाद मंदिर को खोला जा रहा है. इसके चलते यहां दर्शनार्थियों की बड़ी संख्या में आने की संभावना के मद्देनजर यह व्यवस्था की जा रही है.
संभवत: देश का इकलौता ऐसा मंदिर है, जहां भगवान राम को राजा के तौर पर पूूजा जाता है, उन्हें तीनों पहर पुलिस के जवान सलामी देते हैं. इस मंदिर में पूरी राजसी परंपराओं का पालन किया जाता है.