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पूर्व मंत्री लिखीराम कांवरे हत्याकांड में निचली अदालत से उम्रकैद की सजा पाए सातों दोषी बरी

लिखीराम कांवरे की हत्या केस निचली अदालत ने आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी जिसे हाईकोर्ट ने निरस्त कर दिया.

Updated on: 07 Mar 2019, 09:29 AM

जबलपुर:

पूर्व मंत्री लिखीराम कांवरे हत्याकांड मामले में जबलपुर हाईकोर्ट ने 7 आरोपियों को बरी कर दिया. निचली अदालत ने आजीवन कारावास की सजा सुनाई थी जिसे हाईकोर्ट ने निरस्त कर दिया. बता दें 16 दिसंबर 1999 को लिखीराम कांवरे की हत्या कर दी गई थी. मध्‍य प्रदेश विधानसभा उपाध्यक्ष हिना कांवरे के पिता थे लिखीराम कांवरे.

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अभियोजन के अनुसार 16 दिसम्बर 1999 को तत्कालीन परिवहन मंत्री लिखीराम कांवरे की नक्सलियों ने बालाघाट में हत्या कर दी थी. इस मामले में सीबीआई ने 7 नक्सलियों मदनलाल बरकड़े, संतोष उर्फ जगदीश, रुकमा बाई, भैयालाल सिंह, चेतराम गौंड और माखन गौंड को गिरफ्तार किया. सभी के खिलाफ बालाघाट सत्र न्यायालय में आरोप पत्र दाखिल किए गए. कोर्ट ने सभी को अजीवन कारावास की सजा से दंडित किया गया.

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बता दें लिखीराम कांवरे की बेटी हिना कांवरे पर पिछले साथ कथित तैर पर हमला हुआ था. विधानसभा उपाध्यक्ष हिना कांवरे की सुरक्षा में लगे फॉलो गार्ड वाहन को एक ट्रक ने टक्कर मार दी. हादसे में चार लोगों की मौत हो गई थी. इस हादसे में हिना कावरे बाल-बाल बच गईं.