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मध्य प्रदेश: 15 दिनों में 21 किसानों ने दी जान, सीएम शिवराज के क्षेत्र में 5 ने की खुदकुशी

शिवराज सरकार के तमाम आश्वासन और वादे के बावजूद मध्य प्रदेश में किसान आत्महत्याओं का मामला थम नहीं रहा है।

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Jeevan Prakash
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मध्य प्रदेश: 15 दिनों में 21 किसानों ने दी जान, सीएम शिवराज के क्षेत्र में 5 ने की खुदकुशी

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (फाइल फोटो)

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शिवराज सरकार के तमाम आश्वासन और वादे के बावजूद मध्य प्रदेश में किसान आत्महत्याओं का सिलसिला थम नहीं रहा है। 

गुरुवार को चार किसानों ने खुदकुशी कर ली। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के विधानसभा क्षेत्र बुदनी, सागर, छतरपुर और छिंदवाड़ा में एक-एक किसानों ने खुदकुशी की।

पिछले 15 दिनों में मध्य प्रदेश में 21 किसानों ने आत्महत्या की है।

मुख्यमंत्री के क्षेत्र में खुदकुशी

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के विधानसभा क्षेत्र बुदनी के किसान शत्रुघ्न मीणा ने सूदखोर से परेशान होकर जहर खाकर आत्महत्या कर ली। मुख्यमंत्री के गृह जिले सीहोर में 11 दिनों में पांचवें किसान ने आत्महत्या की है। विपक्षी कांग्रेस ने सूदखोर को बीजेपी का पदाधिकारी और मुख्यमंत्री का करीबी बताया है।

ग्वाडिया गांव के निवासी शत्रुघ्न (52) ने एक सूदखोर से पांच लाख का कर्ज लिया था। सूदखोर उसे दी गई रकम का दोगुना (10 लाख रुपये) मांग रहा था, इससे किसान परेशान था।

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बुदनी थाने के प्रभारी आर.एन. शर्मा ने बताया कि शत्रुघ्न ने जहर खाकर आत्महत्या की है, यह बात सही है। मगर कारण पता नहीं चल सका है। पुलिस मामले की जांच कर रही है।

सागर
सागर जिले के खिमलासा थाने के बसहरी निवासी गुलई कुर्मी (50) ने सूदखोर से परेशान होकर महुए के पेड़ से लटककर आत्महत्या कर ली। वह सुसाइड नोट भी छोड़ गया है, जिसमें सूदखोर द्वारा परेशान किए जाने का जिक्र है।

बीना क्षेत्र के अनुविभागीय अधिकारी, पुलिस (एसडीओ,पी) आर.एस. परमार ने गुरुवार को बताया कि गुलई नामक किसान अपने घर से खेत के लिए निकला था और रास्ते के खेत में महुए के पेड़ से लटककर जान दे दी। किसान के घर से सुसाइड नोट मिला है, जिसमें उसने सूदखोर से एक लाख का कर्ज लेने और रकम लौटाने के बाद भी उससे रकम मांगे जाने का जिक्र किया है। पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है।

छतरपुर
छतरपुर जिले के सिविल लाइन थाना क्षेत्र में महेश तिवारी (75) ने बुधवार की शाम को फांसी लगाकर जान दे दी। मूल रूप से लवकुशनगर निवासी तिवारी अपने परिवार के साथ यहां रहता था। परिजनों का कहना है कि कर्ज से परेशान होकर उसने यह कदम उठाया।

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वहीं थाना प्रभारी अरविंद कुजूर ने गुरुवार को बताया कि महेश तिवारी बीमारी से परेशान था और उसने पड़ोस के खंडहर में बदल चुके मकान में जाकर फांसी लगा ली।

छिंदवाड़ा
वहीं छिंदवाड़ा जिले के उमरे थाने क्षेत्र के चकराम गांव के निवासी किसान ष्याम यदुवंषी ने बुधवार को कीटनाशक पी लिया था, उसकी गुरुवार को अस्पताल में मौत हो गई। यदुवंशी पर बैंक का सात लाख का कर्ज था और उसका बिजली बिल बकाया था। बैंककर्मी और बिजली कंपनी के कर्मचारी उसके घर वसूली के लिए गए थे। उसके बाद से वह तनाव में था, उसने जहर खाकर जान दे दी।

राज्य में बीते 15 दिनों में कर्ज और सूदखोरों से परेशान होकर आत्महत्या करने वाले किसानों की संख्या 21 हो गई है। वहीं एक से 10 जून तक चले किसान आंदोलन के दौरान छह जून को पुलिस की गोली से पांच और पिटाई से एक किसान की मौत हुई थी।

एक के बाद एक लगातार जान दे रहे किसानों के परिजनों के प्रति प्रदेश सरकार की तरफ से न तो कोई संवेदना प्रकट की जा रही है और न ही किसानों को कोई आश्वासन दिया जा रहा है।

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(इनपुट IANS से भी)

HIGHLIGHTS

  • गुरुवार को 4 किसानों ने की खुदकुशी, सीएम शिवराज के विधानसभा क्षेत्र बुदनी में एक ने दी जान
  • पिछले 15 दिनों में मध्य प्रदेश में 21 किसानों ने आत्महत्या की है
  • 10 जून तक चले किसान आंदोलन के दौरान पुलिस की गोलीबारी में 5 किसानों की हुई थी मौत

Source : News Nation Bureau

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