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किसानों के लिए नहीं है सिंचाई की व्यवस्था.( Photo Credit : News State Bihar Jharakhand)
गुमला जिला में पर्याप्त बारिश ना होने के चलते धान की रोपाई नहीं हो पाई है. जिससे अन्नदाता के चेहरे मुरझा गए हैं. किसान दिनभर आसमान की ओर टकटकी लगाए रहते हैं इस उम्मीद में कि शायद इंद्र देव उनपर मेहरबान हो जाए. झारखंड का गुमला जिला प्रदेश के उन जिलों में से एक है, जहां की ज्यादातर आबादी पूरी तरह से खेती पर आश्रित है, लेकिन शासन और प्रशासन ने जिले में सिंचाई की कोई व्यवस्था नहीं की है. यानी अन्नदाता पूरी तरह से भगवान के भरोसे हैं और इस साल तो इंद्र देव भी नाराज नजर आ रहे हैं. बारिश हो नहीं रही और सिंचाई का कोई चारा नहीं है. किसानों को अब ये डर सताने लगा है कि अगर धान की रोपाई नहीं हुई तो वो पूरे साल दो वक्त रोटी भी जुटा पाएंगे या नहीं.
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किसानों के लिए नहीं है सिंचाई की व्यवस्था
जिले में धान की बुवाई का प्रतिशत काफी कम है, जिससे किसान बेहद परेशान हैं. अगर कुछ दिनों में धान की बुवाई नहीं हो पाई तो किसानों को कोई फायदा नहीं होगा और उनके आर्थिक हालात भी बिड़ग जाएंगे. हालांकि प्रदेश सरकार की ओर से सुखाड़ प्रभावित जिलों का आकलन करवाया जा रहा है, लेकिन किसानों का कहना है कि सरकार अपनी ओर से हर बार आकलन करती है, लेकिन किसानों को जो मुआवजा और राहत मिलनी चाहिए वो कभी नहीं मिल पाती. ऐसे में किसानों को सिर्फ यही उम्मीद है कि जल्द जिले में बारिश हो ताकि धान की रोपाई कर सके.
जिले में मानसून की बेरुखी ने किसानों के माथे पर चिंता की लकीरें खींच रखी है. जो परिवार पूरी तरह से खेती पर निर्भर है. वो हताश हो रहे हैं.
रिपोर्ट : सुशील कुमार सिंह
HIGHLIGHTS
- मानसून की बेरुखी से अन्नदाता परेशान
- धान की रोपाई पर छाया संकट
- किसानों के लिए नहीं है सिंचाई की व्यवस्था
- भगवान भरोसे हैं जिले के किसान
Source : News State Bihar Jharkhand