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पानी की किल्लत से जूझ रहे ग्रामीण( Photo Credit : प्रतीकात्मक तस्वीर)
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गुमला जिला बारह प्रखंडों का जिला है, जहां के अधिकांश ब्लॉक क्षेत्र में अभी से ही लोगों को पेयजल की समस्या का सामना करना पड़ता है.
पानी की किल्लत से जूझ रहे ग्रामीण( Photo Credit : प्रतीकात्मक तस्वीर)
गुमला जिला के विभिन्न इलाकों में अभी से ही जल संकट की समस्या सामने आने लगी है, जिसको लेकर लोगों ने सवाल खड़ा करते हुए प्रशासन से जल्द से जल्द कार्रवाई करने की मांग की है. गुमला जिला बारह प्रखंडों का जिला है, जहां के अधिकांश ब्लॉक क्षेत्र में अभी से ही लोगों को पेयजल की समस्या का सामना करना पड़ता है. गुमला जिला प्रशासन की गंभीरता की जांच के लिए कुछ स्थलों की स्थिति का हमने आंकलन करने की कोशिश की, जिसमें प्रशासनिक व्यावस्था को बदहाल स्थिति को देखकर स्पष्ट लगा कि केवल प्रशासनिक पदाधिकारी दावा करते हैं. उनको लोगों की जल समस्या को लेकर कोई गंभीरता नहीं है.
पानी के लिए तड़प रहे ग्रामीण
जिला मुख्यालय में स्थित ललित उरांव बस पड़ाव से प्रतिदिन 200 से अधिक बसों का परिचालन होने के कारण हजारों लोगों का बस स्टैंड में आना जाना होता है, लेकिन यहां आज तक सही रूप से पेयजल की व्यावस्था नहीं हो पाई. ललित उरांव बस पड़ाव में कुल चार पेयजल के स्रोत लगाए गए, जो सभी के सभी बेकार पड़े हुए हैं. जिसके कारण लोगों को बस स्टैंड में मौजूद एक मात्र चापाकल पर आश्रित रहना पड़ता, यहां तक कि गरीबों को पानी खरीदकर पीना पड़ता है, जिसकी वजह से ग्रामीणों को काफी दिक्क्त का सामना करना पड़ रहा है.
ग्रामीण बस स्टैंड गुमला
स्थानीय लोगों की मानें तो इसको लेकर कई बार प्रशासनिक पदाधिकारियों से आग्रह किया गया, लेकिन इस ओर किसी का ध्यान आज तक नहीं गया. जिसके कारण उन लोगों को पूरी गर्मी भर तो छोड़िए, सालों भर पानी की समस्या झेलनी पड़ती है. जिला मुख्यालय में मौजूद बस स्टैंड जैसे सार्वजनिक स्थल की जब ऐसी स्तिथि है, तो जिला के अन्य हिस्सों की स्थिति का अंदाजा लगाया जा सकता है. लोगों ने प्रशासन से इस समस्या के समाधान की मांग की है. वहीं, इस मामले में जब नगर परिषद के अध्यक्ष दीपनारायण उरांव से बात की गई तो उन्होंने कहा कि उनकी ओर से जिला मुख्यालय के जल की संकट की समस्या के समाधान को लेकर पहल की जा रही है, लेकिन पैसे की कमी होने की वजह से कुछ विशेष खर्च करने में उन्हें सोचना पड़ता है. हालांकि उन्होंने कहा कि जिन स्थानों पर जल संकट की उन्हें जानकारी मिलती है, वहां टैक भेजकर पानी की आपूर्ति करवाते हैं.
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Source : News State Bihar Jharkhand