झारखंड में धूल फांक रही करोड़ों रुपये की एंबुलेंस, ठेले पर मरीज ले जाने को लोग मजबूर
किसी भी राज्य के विकास के लिए शिक्षा और स्वास्थ्य व्यवस्था सबसे अहम मानी जाती है, लेकिन झारखंड में शिक्षा व्यवस्था की क्या हालत है इसकी तस्वीरें तो आपने कई बार देखी हैं.
किसी भी राज्य के विकास के लिए शिक्षा और स्वास्थ्य व्यवस्था सबसे अहम मानी जाती है, लेकिन झारखंड में शिक्षा व्यवस्था की क्या हालत है इसकी तस्वीरें तो आपने कई बार देखी हैं.
सैकड़ों एंबुलेंस हो रही कबाड़.( Photo Credit : News State Bihar Jharakhand)
किसी भी राज्य के विकास के लिए शिक्षा और स्वास्थ्य व्यवस्था सबसे अहम मानी जाती है, लेकिन झारखंड में शिक्षा व्यवस्था की क्या हालत है इसकी तस्वीरें तो आपने कई बार देखी हैं. रही बात स्वास्थ्य व्यवस्था की तो एक तरफ जहां आम जनता ठेले और खटिया पर मरीजों को ढोते नजर आते हैं तो वहीं दूसरी ओर राजधानी रांची में करोड़ों की एंबुलेंस धुल फांक रही हैं. यहां एक, दो या सिर्फ तीन एंबुलेंस की बात नहीं हो रही, यहां सैकड़ों की संख्या में एंबुलेंस खड़ी हैं. वहीं, इस मामले पर अब विपक्ष ने भी हेमंत सरकार को घेरा है और कई सरकार की मंशा पर सवाल उठाए हैं.
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सरकार के उद्देश्य पर विभाग ने लगाया पलीता झारखंड सरकार ने प्रदेश की जनता के लिए स्वास्थ्य व्यवस्था में सुधार की कोशिश तो जरूर की, लेकिन स्वास्थ्य विभाग इन कोशिशों पर पानी फेरने से बाज नहीं आ रहा है. सरकार की ओर से स्वास्थ्य विभाग को आधुनिक तकनीकों से लैस एंबुलेंस उपलब्ध कराए गए थे ताकि मरीजों को परेशानी ना हो और ज्यादा एंबुलेंस होने से लोगों को और बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं मिले, लेकिन विभाग ने सरकार के उद्देश्य पर जमकर पलीता लगाया है. आलम ये है कि सरकार की ओर से दिए गए एंबुलेंस को खुले मैदान में छोड़ दिया गया है. जहां करोड़ों की एंबुलेंस बेकार पड़ी हैं.
बीजेपी बोली-सरकार ने कबाड़ खाने में डाली एंबुलेंस सरकार हर जिले के प्रशासन को एंबुलेंस क्यों नहीं दे रही ये एक बड़ा सवाल है. जब एंबुलेंस के अभाव में किसी मरीज की मौत होती है और उसके परिजन हंगामा करने लगते हैं तब जाकर सरकार की नींद खुलती है, लेकिन मामला खत्म होने के बाद सरकार फिर से सो जाती है. एंबुलेंस फिर से धूल फांकना शुरू कर देता है. इसी मामले को लेकर विपक्ष ने सरकार को घेरा है. बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष दीपक प्रकाश ने कहा कि बीजेपी सरकार ने कई महंगे एंबुलेंस खरीदे थे. जिसे ये सरकार कबाड़ खाने में डाल दी है.
सरकार कितनी भी कोशिश क्यों ना कर ले जबतक स्वास्थ्य विभाग अपनी जिम्मेदारियों को लेकर गंभीर नहीं होगा तब तक स्वास्थ्य व्यवस्था की तस्वीरें नहीं बदल सकती.
झारखंड में धूल फांक रही करोड़ों रु. की एंबुलेंस विपक्ष ने हेमंत सरकार को घेरा BJP सरकार ने खरीदी थी करोड़ों की एंबुलेंस- दीपक करोड़ों की एंबुलेंस को सरकार ने डाला कबाड़ खाने में- दीपक खटिया और ठेला पर मरीज ले जाने को लोग मजबूर