झारखंड (Jharkhand) में नई सरकार को बने अभी महीनाभर भी नहीं हुआ है, लेकिन इन बीते दिनों में कई बड़े फैसले लिए गए हैं. हेमंत सोरेन (Hemant Soren) के नेतृत्व वाली सरकार ने अब राज्य की जेलों में बंद 139 बंदियों को रिहा करने का फैसला लिया है. मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने राज्य के 5 केंद्रीय कारागार, 1 मंडल कारा और 1 खुला जेल सह पुनर्वास कैम्प में आजीवन कारावास की सजा काट रहे 139 बंदियों (Prisoner) को रिहा करने की राज्य सजा पुनरीक्षण परिषद की अनुशंसा पर अपनी स्वीकृति दे दी है.
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बता दें कि आजीवन कारावास की सजा पाए बंदियों जिनके द्वारा लंबी सजा अवधि बीत जाने और कारागार में उनके बेहतर आचरण, उनके उम्र और उनके द्वारा किये गए अपराध की प्रकृति आदि पर राज्य सजा पुनरीक्षण परिषद विचार करती है और अपनी अनुशंसा करती है. मुख्यमंत्री की स्वीकृति मिलते ही अब इन सभी बंदियों को उनके परिवारवालों के पास भेज दिया जाएगा.
किस कारागार के कितने बंदी
- बिरसा मुंडा केंद्रीय कारा होटवार- 62 कैदी
- लोकनायक जयप्रकाश नारायण केंद्रीय कारा हजारीबाग- 26 कैदी
- केंद्रीय कारागार दुमका- 29 कैदी
- केंद्रीय कारागार घाघीडीह, जमशेदपुर- 14 कैदी
- केंद्रीय कारागार मेदिनीनगर, पलामू- 4 कैदी
- मंडल कारागार चाईबासा- 3 कैदी
- खुला जेल-सह-पुनर्वास कैम्प हजारीबाग- 1 कैदी
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इस मौके पर मुख्यमंत्री ने कहा कि यह दर्शाता है कि अपराधी के जीवन में समाज हित में बदलाव लाना ही सजा का ध्येय होता है. हेमंत सोरेन ने रिहा होने वाले सभी बंदियों को शुभकामनाएं दीं. साथ ही उन्होंने यह भी अपील की कि है यह बंदी नए सिरे से अपनी जिंदगी को शुरू करते हुए देश, राज्य, समाज और अपने परिवार के प्रति अपनी महती जिम्मेदारी का निर्वहन करें. मुख्यमंत्री ने कहा कि मेरे लिए शासन एक जिम्मेदारी का अहसास है और रिहा हो रहे बंदी भी अपने जिम्मेदारी बोध के साथ समाज के लिए सकारात्मक कार्य करें.
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