हिमाचल में सदस्या गंवाने वाले 6 विधायकों के पास क्या हैं विकल्प? इन पर लागू होगा दलबदल कानून! 

राज्यसभा चुनाव में बगावत करने वाले सभी 6 बागी विधायको को हिमाचल प्रदेश विधानसभा स्पीकर कुलदीप ने अयोग्य घोषित कर दिया है.

राज्यसभा चुनाव में बगावत करने वाले सभी 6 बागी विधायको को हिमाचल प्रदेश विधानसभा स्पीकर कुलदीप ने अयोग्य घोषित कर दिया है.

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Mohit Saxena
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Sukhwinder Singh Sukhu( Photo Credit : social media)

Himachal Pradesh: राज्यसभा चुनाव में बगावत करने वाले सभी छह बागी विधायकों पर कार्रवाई की गई है.  हिमाचल प्रदेश विधानसभा स्पीकर कुलदीप सिंह ने इन्हें अयोग्य घोषित कर दिया है. ऐसे में ये अब सवाल ये उठता है कि क्या अयोग्य घोषित होने वाले विधायकों पर दल-बदल कानून लागू होता है की नहीं. आइए जानने की कोशिश करते हैं कि अयोग्य विधायकों पर क्या-क्या आरोप लगाए हैं. अभी उनके पास क्या-क्या मौके हैं? राज्यसभा चुनाव में बगावत करने वाले सभी 6 बागी विधायको को हिमाचल प्रदेश विधानसभा स्पीकर कुलदीप ने अयोग्य घोषित कर दिया है. कांग्रेस के इन छह विधायकों ने क्रॉस वोटिंग कर दी थी. इसके साथ तीन निर्दलीय विधायकों ने भाजपा उम्मीदवार के पक्ष में वोट किया है. इससे भाजपा और कांग्रेस दोनों ही पार्टियों के उम्मीदवार को बराबर यानी 34-34 मत प्राप्त हुए. फिर पर्ची की मदद से फैसला हुआ. इसमें भाजपा के हर्ष महाजन को जीत हासिल हुई. 

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चुनाव तो कांग्रेस से लड़ा मगर पार्टी के व्हिप का उल्लंघन किया

अब दल-बदल विरोधी कानून के तहत विधायकों को आयोग्य घोषित किया गया है. स्पीकर कुलदीप सिंह पठानिया का कहना है कि जिन विधायकों को अयोग्य घोषित किया गया है. उन्होंने चुनाव तो कांग्रेस से लड़ा मगर पार्टी के व्हिप का उल्लंघन किया. कांग्रेस उम्मीदवार के पक्ष में वोटिंग नहीं किया. अयोग्य घोषित होने वाले विधायकों में सुधीर शर्मा, राजेंद्र सिंह राणा, रवि ठाकुर, देवेंदर भुट्टो, चैतन्य शर्मा और इंदर दत्त लखनपाल हैं. ऐसे में सवाल है कि क्या अयोग्य घोषित हुए विधायकों पर दल-बदल विरोधी कानून लागू होना है कि नहीं, अयोग्य विधायकों ने किस तरह के आरोप लगाए हैं, इसके साथ विधायकों के पास अब क्या मौके हैं? आइए पता करते हैं. 

निर्देश के विपरीत जाकर सदन में मतदान किया

कानून कहता है कि राजनीतिक दल के सदस्य को सदन से दो स्थितियों में अयोग्य घोषित किया जा सकता है. उसने स्वेच्छा से राजनीतिक दल की सदस्यता छोड़ी है. वहीं दूसरी ओर अपनी पार्टी के निर्देश के विपरीत जाकर सदन में मतदान किया है. किसी पूर्व जानकारी के मतदान के दौरान हाजिर नहीं रहता है. ऐसे हालात में विधायक को अयोग्य घोषित किया जा सकता है. 

अयोग्य विधायकों ने क्या आरोप लगाए

इस पूरे मामले को लेकर जिन 6 विधायकों को अयोग्य घोषित किया है. उन्होंने अपनी बात रखी है. विधायकों का आरोप है कि उन्हें पार्टी की ओर से दस्तावेज नहीं मिले. उन्हें अपना स्पष्टीकरण देने को लेकर समय नहीं दिया गया. स्पीकर की कार्रवाई के बाद सभी 6 अयोग्य विधायकों के पास कोर्ट जाने का विकल्प मौजूद है. विधायक अदालत में स्पीकर के निर्णय को चुनौती दे सकते हैं. 

Source : News Nation Bureau

कांग्रेस के 6 अयोग्य विधायक anti defection law हिमाचल प्रदेश Disqualifies 6 Congress MLAs Himachal Pradesh Speaker Sukhwinder Singh Sukhu क्या है दलबदल विरोधी कानून
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