गुजरात में बस ड्राइवरों को चेतावनी, मुस्लिमों के ढाबे पर न रोकें गाड़ी
नए फरमान के बाद गुजरात हाईवे फूड स्टॉल के मालिक परेशान हैं, जिसमें कहा गया है कि राजमार्गों पर मुस्लिम-स्वामित्व वाले ढाबों पर नाश्ते के लिए कोई बस न रोकी जाए
highlights
- नए फरमान के बाद गुजरात हाईवे फूड स्टॉल के मालिक परेशान हैं
- गुजरात हाईवे के अधिकांश रेस्तरां मुस्लिम समुदाय ही चलाया करते हैं
- कहा गया, मुसलमानों के रेस्तरां या ढाबे पर रुकते हैं तो उन्हें नुकसान उठाना पड़ सकता है.
नई दिल्ली:
सोशल मीडिया पर एक संदेश तेजी से वायरल हो रहा है. यह गुजरात में हाईवे पर चलने वाले बस संचालकों के लिए है. बताया जा रहा है कि यह फरमान अंतरराष्ट्रीय विश्व हिंदू परिषद (International Vishwa Hindu Parishad) और बजरंग दल (Bajrang Dal) द्वारा जारी किया गया है. इस नए फरमान के बाद गुजरात हाईवे फूड स्टॉल के मालिक परेशान हैं, जिसमें कहा गया है कि राजमार्गों पर मुस्लिम-स्वामित्व वाले ढाबों पर नाश्ते के लिए कोई बस न रोकी जाए. व्हाट्सएप ग्रुप और अन्य सोशल मीडिया पर व्यापक रूप से प्रसारित एक वीडियो में भगवा धारी शख्स कहता है,"आइए इसे पहले सौराष्ट्र-सूरत मार्ग से शुरू करते हैं." मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, गुरुवार को सौराष्ट्र में हाईवे पर एक मुस्लिम भोजनालय के मालिक ने कहा कि एक बस हमेशा की तरह रुकी, लेकिन फिर तीन यात्रियों ने भोजनालय की तस्वीरें लेना शुरू कर दिया.
उनका भोजनालय एक हिंदू नाम पर है. उनके भोजनालय पर हर दिन कम से कम 11 बसें रुकती हैं. मगर अब कोई नहीं रुक रही हैं. उन्होंने बताया कि बस का ड्राइवर उनका दोस्त है और वे उसे एक कमीशन देते हैं लेकिन यात्रियों को कैसे पता चला कि यह एक मुस्लिम-स्वामित्व वाली जगह है, ड्राइवर को पास एक हिंदू स्वामित्व वाले भोजनालय में ले जाने के लिए कहा गया."
शाकाहारी भोजन परोसते हैं
गुजरात हाईवे के अधिकांश रेस्तरां मुस्लिम समुदाय ही चलाया करते हैं. वे केवल शाकाहारी भोजन परोसते हैं और उनके रेस्तरां के नाम नवभारत, नवगुजरात, तुलसी, कबीर, जयहिंद, सर्वोदय आदि नामों से हैं. प्रवीण तोगड़िया द्वारा संचालित अंतरराष्ट्रीय विश्व हिंदू परिषद, जिन्होंने पहले विश्व हिंदू परिषद- संघ परिवार की एक शाखा का नेतृत्व किया था, ने इस चेतावनी को सोशल मीडिया और स्थानीय मीडिया सहित विभिन्न व्हाट्सएप समूहों पर पोस्ट किया है. गुजराती में दी चेतावनी में कहा गया है कि अगर कोई "निजी लग्जरी बस ऑपरेटर मुसलमानों द्वारा चलाए जा रहे ढाबे पर अपनी बस को रोकता है तो उसे परिणाम भुगतने होंगे."
इस बात की पुष्टि करते अंतर्राष्ट्रीय वीएचपी की सूरत इकाई के सचिव राजू शेवाले ने बताया, गुजरात में लोग किशन भरवाड़ की हत्या के बाद मुसलमानों से नाराज हैं. गुजरात के एक मानवाधिकार संगठन ने सूरत में एक सोशल मीडिया और पोस्टर अभियान पर कड़ी आपत्ति जताते हुए राज्य के डीजीपी आशीष भाटिया को एक पत्र भेजा है. एनजीओ माइनॉरिटी कोऑर्डिनेशन कमेटी के संयोजक मुजाहिद नफीस के पत्र में कहा गया है कि पोस्टर लग्जरी बस ऑपरेटरों और ड्राइवरों को धमकी देता है कि अगर वे मुसलमानों द्वारा संचालित किसी होटल, रेस्तरां या ढाबे पर रुकते हैं तो उन्हें नुकसान उठाना पड़ सकता है.
पोस्ट शेयर करने पर जताई थी आपत्ति
गौरतलब है कि 6 जनवरी को किशन भरवाड़ ने फेसबुक पर एक पोस्ट शेयर किया था. इसके बाद मुस्लिम समुदाय के कुछ सदस्यों ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई थी. यह आरोप लगाया कि इससे उनकी भावनाओं को ठेस पहुंची है. इस घटना के बाद 2 बाइक सवारों ने किशन की गोली मारकर हत्या कर दी थी. हत्याकांड की जांच के बाद पुलिस ने दोनों युवक शब्बीर और इम्तियाज पठान को गिरफ्तार कर लिया था.
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