Umar Khalid Bail: दिल्ली दंगों के आरोपी और जेएनयू के पूर्व छात्र नेता उमर खालिद को अंतरिम जमानत दे दी गई है. इसके बाद अब वो अपने चचेरे भाई की शादी में शामिल हो सकेंगे. उनकी जमानत कड़कड़डूमा कोर्ट ने 7 दिन की अवधि के लिए स्वीकार की है. गौरतलब है कि खालिद 2020 में उत्तर पू्र्वी दिल्ली हिंसा से संबंधित एक बड़ी साजिश के मामले में न्यायिक हिरासत में है. कोर्ट की ओर से उमर खालिद को 28 दिसंबर से 3 जनवरी तक अंतरिम जमानत मिली है.
बता दें कि उमर खालिद ने अपने मौसेरे भाई और बहन की शादी में शामिल होने के लिए 10 दिनों की अंतरिम जमानत मांगी थी. दिसंबर की शुरुआत में उमर खालिद और मीरन हैदर ने समानता, मुकदमें में देरी और लंबी कैद का आधार बनाकर भी जमानत की मांग की थी. इसके बाद पुलिस ने जवाब पेश करने के लिए समय की मांग की थी.
वकील ने कही ये बात
उमर खालिद की रेगुलर जमानत याचिका पर दिल्ली हाई कोर्ट में सुनवाई हुई थी. इस दौरान उमर के वकील ने हाई कोर्ट में कहा कि उनके खिलाफ हिंसा या धन जुटाने का कोई आरोप नहीं है. वकील त्रिदीप पेस ने कहा कि उमर खालिद की ओर से एकमात्र प्रत्यक्ष कृत्य महाराष्ट्र के अमरावती में दिया गया भाषण था, इस भाषण में भी खालिद की ओर से हिंसा का आह्वान नहीं किया गया है.
ये हैं आरोप
दिल्ली की कड़कड़डूमा अदालत ने 2020 के दिल्ली दंगों के मामले में उमर खालिद को अंतरिम जमानत दी है. उसके ऊपर कड़े गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए) के तहत मामला दर्ज किया गया था. खालिद जेएनयू (JNU) के पूर्व छात्र और सामाजिक कार्यकर्ता हैं. उमर खालिद ने देरी और अन्य आरोपी व्यक्तियों के साथ समानता के आधार पर नियमित जमानत की मांग की थी. उन्हें यूएपीए के तहत एक मामले में सितंबर 2020 से जेल में बंद रखा गया है.