दिल्ली सरकार ने शिक्षा और खेल क्षेत्र में व्यापक सुधार और प्रोत्साहन के लिए तीन बड़े फैसले लिए हैं. शिक्षा, गृह, ऊर्जा और शहरी विकास मंत्री आशीष सूद ने मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक के बाद इन योजनाओं की घोषणा की. सरकार का लक्ष्य है – दिल्ली के युवाओं को वैश्विक स्तर पर पहचान दिलाना और समग्र विकास सुनिश्चित करना.
1. मुख्यमंत्री खेल प्रोत्साहन योजना: पुरस्कारों में भारी बढ़ोतरी
दिल्ली सरकार ने खिलाड़ियों को मिलने वाले नकद पुरस्कारों में भारी वृद्धि की है. अब ओलंपिक/पैरा ओलंपिक में स्वर्ण पदक विजेता को ₹7 करोड़ तक की राशि दी जाएगी, जबकि पहले यह ₹3 करोड़ थी. इसी तरह रजत और कांस्य विजेताओं को क्रमशः ₹5 करोड़ और ₹3 करोड़ मिलेंगे.
प्रतियोगिता पदक पहले की राशि नई राशि
ओलंपिक / पैरा-ओलंपिक स्वर्ण ₹3 करोड़ ₹7 करोड़
रजत ₹2 करोड़ ₹5 करोड़
कांस्य ₹1 करोड़ ₹3 करोड़
एशियाई खेल स्वर्ण ₹1 करोड़ ₹3 करोड़
रजत ₹75 लाख ₹2 करोड़
कांस्य ₹50 लाख ₹1 करोड़
इसके अतिरिक्त, दिल्ली का प्रतिनिधित्व करने वाले विशिष्ट खिलाड़ियों को ₹20 लाख वार्षिक सहायता मिलेगी. साथ ही, पदक जीतने वाले खिलाड़ियों को सरकारी नौकरी में भी नियुक्त किया जाएगा — जैसे ओलंपिक स्वर्ण/रजत पदक विजेता को ग्रुप A की नौकरी दी जाएगी.
2. मुख्यमंत्री डिजिटल शिक्षा योजना: मेधावी छात्रों को मिलेगा मुफ्त लैपटॉप
डिजिटल शिक्षा को बढ़ावा देने और राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के दृष्टिकोण को लागू करते हुए, सरकार ने ‘मुख्यमंत्री डिजिटल शिक्षा योजना’ की शुरुआत की है. इसके तहत कक्षा 10 के 1200 मेधावी छात्रों को i7 कॉन्फ़िगरेशन वाले उच्च प्रदर्शन वाले लैपटॉप मुफ्त दिए जाएंगे. इस योजना पर ₹8 करोड़ का बजट निर्धारित किया गया है.
आशीष सूद ने कहा, “यह योजना छात्रों को डिजिटल दुनिया में बिना किसी बाधा के आगे बढ़ने का मौका देगी.”
3. 175 सरकारी स्कूलों में स्थापित होंगी ICT लैब्स
राजधानी के सरकारी स्कूलों में डिजिटल आधारभूत ढांचे की कमी को दूर करने के लिए 175 ICT लैब्स स्थापित की जाएंगी. हर लैब में 40 कंप्यूटर होंगे और यह सीबीएसई के मानकों के अनुसार होंगी. वर्तमान में दिल्ली के 1,074 स्कूलों में कार्यरत कोई भी ICT लैब नहीं है. पिछली सभी लैब्स केंद्र सरकार के सहयोग से 2015-2019 के बीच बनाई गई थीं.