मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता के नेतृत्व में दिल्ली सरकार ने महिलाओं के सशक्तिकरण की दिशा में एक बड़ा कदम उठाते हुए दुकानों और व्यावसायिक प्रतिष्ठानों में महिलाओं को 24x7 नाइट शिफ्ट में काम करने की अनुमति देने का निर्णय लिया है. इस निर्णय से जहां महिलाओं की कार्यक्षमता और भागीदारी में वृद्धि होगी, वहीं दिल्ली को 24x7 कार्यरत व्यापारिक केंद्र के रूप में भी स्थापित किया जा सकेगा.
मुख्यमंत्री ने कहा कि यह फैसला Ease of Doing Business को भी बढ़ावा देगा और महिलाओं को आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनाने में अहम भूमिका निभाएगा. उन्होंने बताया कि हरियाणा, तेलंगाना, मध्य प्रदेश और तमिलनाडु जैसे राज्यों में पहले ही इस तरह की व्यवस्था लागू है, और अब दिल्ली भी इस दिशा में आगे बढ़ रही है.
मुख्यमंत्री ने स्पष्ट किया कि महिलाओं की सुरक्षा को प्राथमिकता दी जाएगी और इसके लिए कई सख्त प्रावधान लागू किए जाएंगे. इनमें शामिल हैं:
• प्रत्येक महिला कर्मचारी के लिए सुरक्षित ट्रांसपोर्ट सुविधा
• कार्यस्थलों पर सीसीटीवी निगरानी
• पर्याप्त संख्या में महिला सुरक्षा गार्ड
• POSH (Prevention of Sexual Harassment) कानून के तहत आंतरिक शिकायत समिति का गठन
• शौचालय, विश्राम कक्ष, लॉकर जैसी बुनियादी सुविधाएं
वर्तमान में दिल्ली दुकान एवं प्रतिष्ठान अधिनियम, 1954 की धारा 14, 15 और 16 के तहत महिलाओं को रात 9 बजे (गर्मियों में) और 8 बजे (सर्दियों में) के बाद काम करने की अनुमति नहीं है. अब इन धाराओं में संशोधन कर महिलाओं को रात की शिफ्ट में काम करने की अनुमति दी जाएगी. इस प्रस्ताव को उपराज्यपाल की मंजूरी के लिए जल्द ही भेजा जाएगा.
अन्य शर्तें भी होंगी लागू
• नाइट शिफ्ट में काम के लिए महिला कर्मचारियों की लिखित सहमति अनिवार्य होगी.
• वेतन का भुगतान केवल बैंक या ECS के माध्यम से किया जाएगा.
• सभी वैधानिक लाभ जैसे ईएसआई, बोनस, पीएफ, साप्ताहिक अवकाश और ओवरटाइम भत्ता अनिवार्य होंगे.
मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने कहा कि यह कदम न केवल महिलाओं के लिए रोजगार के नए अवसर खोलेगा, बल्कि दिल्ली की अर्थव्यवस्था और सामाजिक ढांचे को भी मजबूती प्रदान करेगा. सरकार महिलाओं की सुरक्षा और आर्थिक सशक्तिकरण के प्रति पूरी तरह प्रतिबद्ध है.