दिल्ली के परिवहन मंत्री डॉक्टर पंकज कुमार सिंह की अध्यक्षता में दिल्ली परिवहन निगम बोर्ड ने इलेक्ट्रिक बसों की अनुबंध के लिए नई दरों को मंजूरी दी. दिल्ली को विकसित भारत की विकसित राजधानी बनाने के संकल्प को पूरा करने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन और मुख्यमंत्री श्रीमती रेखा गुप्ता के नेतृत्व में डीटीसी को स्वच्छ और आर्थिक रूप से समृद्ध सार्वजनिक परिवहन प्रणाली बनाने की दिशा में हमारी सरकार ने कई महत्वपूर्ण कदम उठाएं हैं. डीटीसी की वित्तीय सेहत को सुधार कर और ज्यादा मजबूत बनाने के साथ ग्रीन दिल्ली और क्लीन दिल्ली के संकल्प को पूरा करने के लिए हमारी सरकार ने अहम फैसला लिया है.
क्या है मामला
इलेक्ट्रिक बसों के हायरिंग करने के लिए दरों को संशोधित करने का मुख्य मकसद डीटीसी के इलेक्ट्रिक बसों के बेड़े को प्राइवेट स्कूलों, सरकारी और निजी एजेंसियों के साथ दिल्ली पुलिस और फिल्मों की शूटिंग के लिए सुगम विकल्प बनाना है. डीटीसी बोर्ड के फैसले से अतिरिक्त राजस्व की प्राप्ति होने के साथ परिचालन लागत की भरपाई भी सुनिश्चित हो सकेगी. परिवहन विभाग के अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि दिल्ली सरकार का मुख्य जोर डीटीसी को रेवेन्यू सरप्लस वाला मजबूत संस्था बनाना है. ताकि एक वर्ष के भीतर दिल्ली परिवहन निगम को लाभप्रद संस्थान बनाने का लक्ष्य पूरा हो सके.
डीटीसी बोर्ड की बैठक
डीटीसी की सीएनजी लो फ्लोर एसी/नॉन-एसी बसों के लिए विशेष किराया दरों में आखिरी बार एक दशक पहले आखिरी बार संशोधित किया गया था. हमारी सरकार का उद्देश्य डीटीसी के बेड़े में शामिल सीएनजी बसों को इस साल के अंत तक चरणबद्ध तरीके से हटाकर इलेक्ट्रिक बसों को शामिल करना है. परिवहन मंत्री ने कहा कि हमारी सरकार ने वर्ष 2024-25 के लिए की जब लागत का विश्लेषण किया , जिससे पता चला है कि डीटीसी की इलेक्ट्रिक बसों की प्रति किलोमीटर लागत सिर्फ 90.38 रुपए आता है. डीटीसी बोर्ड की बैठक में इलेक्ट्रिक लो फ्लोर एसी बसों के लिए नया किराया दर 110 रुपए प्रति किलोमीटर प्रस्तावित किया गया है. जिसके हिसाब से 70 किलोमीटर तक परिचालन के लिए ई-लो फ्लोर AC बसों का न्यूनतम दैनिक किराया 7700 रुपए प्रति बस निर्धारित किया गया है. जिससे लागत की वसूली सुनिश्चित होने के साथ परिचालन व्यय भी सुनिश्चित होगी.
क्या है डीटीसी बसों का किराया
वर्तमान में डीटीसी की CNG नॉन-एसी बसों का किराया 60 रुपए प्रति किलोमीटर के हिसाब से 3000 रुपए तक न्यूमतम निर्धारित है. जबकि सीएनजी की एसी बसों का किराया 75 रुपए प्रति किलोमीटर लागत के हिसाब से 4500 रुपए निर्धारित है. उन्होंने बताया कि बसों के परिचालन लागत का बारीकी से विश्लेषण करने के बाद बढ़ी हुई लागत और ई-बसों के परिचालन को ध्यान में रखते हुए पुरानी दरों को संशोधन करना बेहद जरूरी हो गया है.
परिवहन मंत्री डॉ. पंकज कुमार सिंह ने कहा कि डीटीसी को वित्तीय रूप से आत्मनिर्भर और पर्यावरण के प्रति जिम्मेदार इकाई में बदलने के लिए हमारी सरकार की प्रतिबद्ध है. संशोधित नई दरों के लागू होने से न केवल लागत की वसूली सुनिश्चित होगी, बल्कि DTC को फिल्मों की शूटिंग जैसे कई रचनात्मक क्षेत्रों में भी भागीदारी करने का सुनहरा अवसर मिलेगा. हमारी सरकार का मुख्य उद्देश्य डीटीसी के राजस्व और जनसंपर्क दोनों में वृद्धि करने के साथ ही DTC को आत्मनिर्भर और पर्यावरण के प्रति जिम्मेदार संस्था बनाने की है.