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smart classrooms in Delhi Photograph: (AI)
दिल्ली कैबिनेट में लिया गया बड़ा फैसला दिल्ली के शिक्षा क्षेत्र में व्यापक सुधारों को मंजूरी दी गई. यह राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP)-2020 के तहत दिल्ली के स्कूली बुनियादी ढांचे के अनुरूप लिया गया फैसला है. नेशनल एजुकेशन पॉलिसी (NEP) 2020 ने experiential learning, personalized coaching और individual learning experiences पर विशेष बल दिया है. इन उद्देश्यों की पूर्ति के लिए स्मार्ट ब्लैक बोर्ड्स की अत्यधिक आवश्यकता है.
डिजिटल क्लासरूम विस्तार योजना का अनावरण
शिक्षा मंत्री आशीष सूद ने एक व्यापक डिजिटल क्लासरूम विस्तार योजना का अनावरण किया, जिसकी शुरुआत 75 सीएम श्री स्कूलों में 2,446 स्मार्ट ब्लैकबोर्ड की स्थापना से होगी, जिसके लिए टेंडर पहले से ही अंतिम चरणों में हैं. कैबिनेट ने पांच चरणों में कक्षा 9 से 12 के लिए 18,966 अतिरिक्त स्मार्ट क्लासरूम बनाने के प्रस्तावों को भी मंजूरी दी, जिससे 2029-30 तक स्मार्ट क्लासरूम की कुल संख्या 21,412 हो जाएगी. इस पहल के लिए ₹900 करोड़ से अधिक का निवेश किया जाएगा ताकि शिक्षा के बुनियादी ढांचे को उन्नत किया जा सके, NEP-2020 की सिफारिशों का प्रभावी कार्यान्वयन सुनिश्चित हो, और स्मार्ट बोर्ड के सहज एकीकरण व बेहतर सीखने के परिणामों के लिए एक समर्पित शिक्षक प्रशिक्षण मॉड्यूल लॉन्च किया जा सके.
क्या बोले शिक्षा मंत्री
शिक्षा मंत्री आशीष सूद ने कहा, "आपको यह जानकर आश्चर्य होगा कि दिल्ली के सरकारी स्कूलों में कुल 37,778 क्लासरूम हैं, फिर भी 2014 से 2024 के बीच इनमें से केवल 799 में ही स्मार्ट ब्लैकबोर्ड लगाए गए और वे भी CSR दान के माध्यम से आए, न कि सरकारी फंडिंग से. पिछली सरकार कुछ पॉश इलाकों में कुछ इमारतें बनाकर इसे शिक्षा क्रांति कहती थी. वहीं, हम गुणवत्तापूर्ण शिक्षा को दिल्ली के कोने-कोने तक ले जा रहे हैं — नज़फ़गढ़, नरेला, सीमापुरी, महावीर एन्क्लेव और किराड़ी तक."
हमने शिक्षा को प्राथमिकता दी
उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि ये सुधार NEP-2020 के अनुभवात्मक और व्यक्तिगत शिक्षा पर जोर देने के अनुरूप हैं, और सरकार दिल्ली के सरकारी स्कूलों को सिर्फ बुनियादी ढांचे में ही नहीं, बल्कि शिक्षाशास्त्र और सीखने के परिणामों में भी उत्कृष्टता का केंद्र बनाने के लिए प्रतिबद्ध है. विपक्ष के आरोपों पर आशीष सूद ने कहा, "हमने शिक्षा का बजट काटा नहीं, बल्कि उसे प्राथमिकता दी. जब दूसरे लोग इमारतों के सामने फोटो खिंचवा रहे थे, हम वहां निवेश कर रहे हैं जहां यह सबसे ज्यादा मायने रखता है: क्लासरूम और शिक्षकों में."