दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने आज केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण से मुलाकात की. यह बैठक वित्त मंत्रालय में आयोजित की गई, जिसमें मुख्यमंत्री ने दिल्ली की वर्तमान विकास योजनाओं, विभिन्न योजनाओं की प्रगति और भविष्य की आवश्यकताओं के बारे में विस्तार से जानकारी दी. उन्होंने बताया कि केंद्र सरकार के सहयोग से राजधानी में तेज़ गति से सकारात्मक परिवर्तन हो रहे हैं.
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार की “सहयोगात्मक विकास नीति” ने दिल्ली को एक नई दिशा और गति दी है. उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि दिल्ली केवल देश की राजधानी नहीं, बल्कि सांस्कृतिक, प्रशासनिक और आर्थिक केंद्र भी है. इसलिए यहां का नियोजित और सतत विकास पूरे देश के लिए एक उदाहरण बनना चाहिए.
₹600 करोड़ की विशेष वित्तीय सहायता प्राप्त होगी
मुख्यमंत्री ने यह जानकारी भी दी कि केंद्र सरकार की SASCI (Special Assistance to States/UTs for Capital Investment) योजना के तहत दिल्ली को इस माह के अंत तक ₹600 करोड़ की विशेष वित्तीय सहायता प्राप्त होगी. यह राशि राजधानी में बुनियादी ढांचे के विकास, ट्रैफिक मैनेजमेंट, जल निकासी, हरित ऊर्जा और कचरा प्रबंधन जैसे अहम क्षेत्रों में खर्च की जाएगी.
उन्होंने बताया कि इस वित्तीय सहायता के लिए प्रस्ताव जल्द ही वित्त मंत्रालय को भेजा जाएगा. मुख्यमंत्री ने केंद्रीय वित्त मंत्री के सहयोगात्मक दृष्टिकोण और सकारात्मक रवैये के लिए धन्यवाद व्यक्त किया. उन्होंने यह भी कहा कि दिल्ली के लोग आज केंद्र और राज्य सरकार के संयुक्त प्रयासों के प्रत्यक्ष लाभ देख रहे हैं.
प्रभावशीलता के साथ लागू किया जाएगा
बैठक में वित्त मंत्रालय और दिल्ली सरकार के वरिष्ठ अधिकारी भी मौजूद रहे. मुख्यमंत्री ने इस मुलाकात को “सहकारी संघवाद का जीवंत उदाहरण” बताया और कहा कि SASCI योजना को पूरी पारदर्शिता और प्रभावशीलता के साथ लागू किया जाएगा ताकि दिल्ली को एक विश्वस्तरीय राजधानी के रूप में विकसित किया जा सके.
SASCI (राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों को पूंजीगत निवेश हेतु विशेष सहायता) योजना की शुरुआत वर्ष 2020-21 में COVID-19 महामारी के बाद आर्थिक पुनरुत्थान के उद्देश्य से की गई थी. इसके तहत राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को 50 वर्षों के लिए ब्याज-मुक्त ऋण प्रदान किया जाता है. इसका उद्देश्य बुनियादी ढांचा विकास, रोजगार सृजन और सतत आर्थिक वृद्धि को बढ़ावा देना है. यह योजना राज्यों को देश के समग्र विकास में सक्रिय भागीदार बनने के लिए वित्तीय संसाधन और सुधारों के साथ सक्षम बनाती है.