बर्ड फ्लू के ख़तरे को देखते हुए राजधानी दिल्ली को अलर्ट पर रखा गया है। अब तक अलग-अलग इलाकों में कुल 17 पक्षियों की मौत हो चुकी है। सबसे पहले बर्ड फ्लू के निशान दिल्ली के चिड़िया घर में देखे गए थे। जिसके बाद एहतियातन पहले चिड़ियाघर और बाद में हौजखास के डियर पार्क को बंद कर दिया।
दिल्ली सरकार हालात पर नजर बनाए हुए है। सरकार ने अलग-अलग जगहों से 50 सैंपल जमा कर जांच के लिए जालंधर लैब भेजे हैं। साथ ही रिपोर्ट नहीं आने तक लोगों से मरे पक्षियों से दूर रहने और चिकन न खाने की भी अपील की है।
फिलहाल 23 सदस्यों की कॉर्डिनेशन कमेटी गठित की गई है। यह कमेटी मंडी में जाकर पक्षियों की पड़ताल करेगी। साथ ही रैपिड रिस्पांस टीम की संख्या 6 से बढ़ाकर 10 कर दी गई है। दिल्ली सरकार में विकास मंत्री गोपाल राय शुक्रवाक को डॉक्टरों की टीम के साथ दिल्ली की गाजीपुर मंडी का दौरा करेंगे।
दिल्ली के चिड़ियाघर में दो प्रवासी पक्षियों की मौत का पहला मामला 14 अक्टूबर को सामने आया था। उसके दूसरे ही दिन 11 और पक्षियों के मरने की खबर से दिल्ली सरकार एक्शन में आ गई।
दरअसल दिल्ली में मरे कुछ पक्षियों में एच5-N1 वायरस पाया गया, जिसके बाद से दिल्ली सरकार को डर है कि पक्षियों की मौत की वजह एच5-N1 इन्फ्लुएंजा तो नहीं। एच5-N1 इन्फ्लुएंजा यानि उड़कर लगने वाला जुकाम जो बर्ड फ्लू की वजह से होता है।
दिल्ली के पशुपालन विभाग की 6 टीमें ओखला पक्षी विहार, निजामुद्दीन, यमुना डायवर्सिटी पार्क, नजफ बीमारी की रोकथाम के लिए दवाइयों का छिड़काव भी किया जा रहा है। हालात से निपटने के लिए दिल्ली सरकार की ओर से एक कंट्रोल रूम भी बनाया गया है।
Source : News Nation Bureau