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104 घंटे बाद 60 फीट गहरे बोरवेल से सुरक्षित निकाला गया 11 वर्षीय राहुल

स्थानीय प्रशासन, एनडीआरएफ और सेना की मदद से 104 घंटे की लंबी जद्दोजहद के बाद 60 फीट गहरे गड्ढे में फंसे 11 वर्षीय राहुल को मंगलवार की रात सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया. इसके बाद उसे तत्काल बिलासपुर स्थित अपोलो अस्पताल ले जाया गया,

Updated on: 15 Jun 2022, 08:41 AM

highlights

  • 104 घंटे की मशक्कत के बाद मिली सफलता
  • प्रशासन, DRFव सेना ने मिलकर किया काम
  • बचाव अभियान में करीब 150 अफसर थे तैनात 

बिलासपुर:

स्थानीय प्रशासन, एनडीआरएफ और सेना की मदद से 104 घंटे की लंबी जद्दोजहद के बाद 60 फीट गहरे गड्ढे में फंसे 11 वर्षीय राहुल को मंगलवार की रात सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया. इसके बाद उसे तत्काल बिलासपुर स्थित अपोलो अस्पताल ले जाया गया, जहां उन्हें ICU विशेषज्ञ डॉक्टरों की टीम की देखरेख में रखा गया है. राहुल पूरी तरह से खतरे से बाहर है. जांजगीर-चांपा जिले के पिहरीद गांव में बोरवेल में गिरे राहुल साहू को 104 घंटे की कठिन ऑपरेशन के बाद सफलतापूर्वक बचा लिया गया. मंगलवार आधी रात के करीब साहू को सकुशल बाहर निकाल लिया गया. बचाव अभियान के लिए करीब 150 अधिकारियों को तैनात किया गया था. 



ICU में  है राहुल
राहुल को सुरक्षित निकालने के बाद कलेक्टर ने कहा कि हम जीत गए. हमारी टीम जीत गई. यह एक चुनौतीपूर्ण स्थिति थी. हमें प्रशासन से हर तरह की सहायता दी गई. उन्होंने कहा कि खुद मुख्यमंत्री भूपेश बघेल लगातार स्थिति की निगरानी कर रहे थे. हम राहुल को सीधे बिलासपुर के अपोलो अस्पताल ले जा रहे हैं.  बचाव अभियान में भारतीय सेना, राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल (एनडीआरएफ) और जिला प्रशासन द्वारा संयुक्त रूप से ऑपरेशन चलाया गया, तब जाकर 104 घंटे की मशक्कत के बाद ये सफलता मिली.


मुख्यमंत्री बोले, छत्तीसगढ़ ने रचा इतिहास
राहुल को वैल से सुरक्षित निकाले जाने के बाद छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री कार्यालय ने ट्वीट किया कि आप सभी की दुआओं के साथ हमारे बहादुर राहुल कुशल हाथों में हैं. कुछ समय पहले एम्बुलेंस से उन्हें बिलासपुर के अपोलो अस्पताल ले जाया गया. उन्हें फिलहाल विशेषज्ञ डॉक्टरों की एक टीम की निगरानी में आईसीयू में रखा गया है. वहीं, छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने ट्वीट कर लिखा कि मेरी सतत मॉनिटरिंग में एसडीआरएफ, छत्तीसगढ़ पुलिस, भारतीय सेना और जिला प्रशासन  ने संयुक्त रूप से कर्तव्यनिष्ठा का पालन करते हुए राहुल को बोरवेल से निकालने का दुष्कर कार्य कर दिखाया. यह ऑपरेशन पूरे देश के लिए मिसाल है. छत्तीसगढ़ ने इतिहास रचा है.