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बेटे के हत्यारों की गिरफ्तारी के लिए 8 महीने से गुहार लगा रहा पीड़ित परिवार

कैमूर जिले के रामगढ़ थाना क्षेत्र के सदुल्लहपुर गांव का पीड़ित परिवार बेटे के हत्यारों की गिरफ्तारी के लिए 8 महीनों से थानेदार से लेकर एसपी तक और मुख्यमंत्री से लेकर प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति तक गुहार लगा रहा है.

Updated on: 07 Sep 2022, 11:36 AM

Kaimur:

कैमूर जिले के रामगढ़ थाना क्षेत्र के सदुल्लहपुर गांव का पीड़ित परिवार बेटे के हत्यारों की गिरफ्तारी के लिए 8 महीनों से थानेदार से लेकर एसपी तक और मुख्यमंत्री से लेकर प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति तक गुहार लगा रहा है, लेकिन कोई उसकी मदद नहीं कर रहा. लाचार होकर परिवार ने मीडिया का सहारा लिया. बच्चे के हत्या होने के बाद पीड़ित ने रामगढ़ थाने में चार आरोपियों के खिलाफ प्राथमिकी के लिए आवेदन दिया, लेकिन पुलिस ने नहीं दर्ज की FIR तो व्यवहार न्यायालय भभूआ का शरण लिया. जहां कोर्ट के आदेश पर प्राथमिकी तो दर्ज हो गई, लेकिन चारों आरोपियों में से किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई. पीड़ित परिजनों की मानें तो पुलिस इस मामले में गांव में एक बार भी छापेमारी करने तक नहीं गई. रामगढ़ पुलिस के सिथिल रवैये से परिवार काफी परेशान है और न्याय की गुहार लगा रहा.

परिजनों ने जानकारी देते हुए बताया सावन बिंद को 4 लोगों द्वारा मछली मारने के लिए आज से 8 माह पहले गांव से बाहर तालाब में ले जाया गया था. जब वह वापस नहीं लौटा तक काफी खोजबीन की गई तो कुछ लोगों द्वारा ऑटो से उसके डेड बॉडी को उसके घर के पास लाकर छोड़ दिया गया. डेड बॉडी देखने के बाद उसके शरीर का चमड़ा झूल गया था, आंखों में मिट्टी लगा था, मुंह में बालू भरा था. जिससे स्पष्ट पता चल रहा है कि उसकी हत्या कर दी गई है. जब इसकी सूचना हमने यहां के स्थानीय रामगढ़ थाना को दिया तो थाना ने प्राथमिकी तक दर्ज नहीं किया, फिर इसके बाद मुझे प्राथमिकी दर्ज कराने के लिए व्यवहार न्यायालय भभुआ का शरण लेना पड़ा. जहां न्यायालय के आदेश पर चार लोगों के खिलाफ नामजद प्राथमिकी तो दर्ज कर ली गई, लेकिन घटना के 8 महीने बीत जाने के बाद भी अभी तक उन चारों आरोपियों में से किसी की गिरफ्तारी पुलिस नहीं कर रही है.

आरोपी खुलेआम सीना चौड़ा कर घूम रहे हैं. हम लोग न्याय को लेकर थानेदार से डीएसपी और एसपी से गुहार लगाकर थक गए फिर भी कोई कार्रवाई नहीं हुई. फिर हमने मुख्यमंत्री, प्रधानमंत्री, राष्ट्रपति और मानवाधिकार आयोग को मेल करके और स्पीड पोस्ट के माध्यम से पत्र भेजकर सूचित किया. उसके बाद भी कोई पहल नहीं हुआ, तब मजबूर होकर मीडिया का सहारा लेना पड़ा. अब हम लोग चाहते हैं कि जिस तरह से मेरे बच्चे की इन चारों आरोपियों द्वारा मछली मारने के बहाने ले जा कर हत्या कर दी गई है, उनकी गिरफ्तारी तत्काल की जाए और उन लोगों को फांसी से कम सजा नहीं दी जाए. इसके साथ ही परिवार ने आरोपियों के साथ-साथ यहां के थानाध्यक्ष पर भी कार्रवाई की मांग की है.