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शिवराज सिंह बोले- शरद पवार ने की थी APMC एक्ट में संशोधन की वकालत

किसान संगठनों ने 8 दिसंबर को भारत बंद का ऐलान किया है. एक दर्जन से अधिक विपक्षी दलों ने भारत बंद का समर्थन किया है. बीजेपी इसे विपक्ष की दोहरी राजनीति करार दे रही है.

Updated on: 07 Dec 2020, 09:58 PM

भोपाल:

किसान संगठनों ने 8 दिसंबर को भारत बंद का ऐलान किया है. एक दर्जन से अधिक विपक्षी दलों ने भारत बंद का समर्थन किया है. बीजेपी इसे विपक्ष की दोहरी राजनीति करार दे रही है. इससे पहले एनसीपी चीफ शरद पवार ने किसानों के समर्थन में कहा था कि जल्द किसानों का समाधान नहीं किया तो पूरे देश के किसान आंदोलन में शामिल हो जाएंगे. जिसके बाद मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बयान दिया है. शिवराज सिंह चौहान ने हैदराबाद में कहा कि मैं कांग्रेस और डीएमके, आप, सपा, अकाली दल, टीएमसी सहित अन्य राजनीतिक दलों के पाखंड का पर्दाफाश करूंगा. 

उन्होंने कहा कि शरद पवार साहब ने 2011 में मुझे लिखा था कि किसानों, उपभोक्ताओं और कृषि व्यापार के समग्र हित में विपणन, बुनियादी ढांचे में निजी क्षेत्र के निवेश और वैकल्पिक प्रतिस्पर्धी विपणन चैनल प्रदान करने के लिए मॉडल (APMC) एपीएमसी अधिनियम की तर्ज पर एपीएमसी (APMC) अधिनियम में संशोधन करने की आवश्यकता है. 

वहीं बिहार बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष संजय जयसवाल ने कहा कि विपक्ष किसानों को बरगलाने का काम कर रहा है. इनकी दोहरी नीति है. बिहार में राजद के नेता को कुछ पता नहीं और ये आंदोलन कर रहे हैं. शरद पवार हमेशा से apmc एक्ट के विरोध में रहे हैं. बिहार में हम व्यापार मंडल और पेक्स के माध्यम से अनाज खरीदते हैं. मगर उसमें भी पीछे रहते हैं. अगर प्राइवेट कम्पनियां आकर धान खरीदती है, तो विकल्प किसान को मिलेगा. किसानों के लिये ये कानून बना है. मैं बिहार के किसानों से अनुरोध करूंगा कि वो विपक्ष के भारत बंद के छ्लावे में ना आये. किसान इस भारत बंद का विरोध करें.