9 महीने बाद बिहार में खुले स्कूल-कॉलेज, गाइडलाइन करनी होगी फॉलो
कोरोना लॉकडाउन की वजह से 9 महीने तक बंद रहने के बाद बिहार के स्कूल, कॉलेज, विश्वविद्यालय सहित विभिन्न शैक्षणिक संस्थान सोमवार से फिर से खुल गए.
पटना:
कोरोना लॉकडाउन की वजह से 9 महीने तक बंद रहने के बाद बिहार के स्कूल, कॉलेज, विश्वविद्यालय सहित विभिन्न शैक्षणिक संस्थान सोमवार से फिर से खुल गए. हालांकि शौक्षणिक संस्थानों में कोरोना गाइडलाइंस का मजबूती से पालन होते दिखा. सरकार ने यह फैसला कोरोना वायरस के नए मामलों की संख्या में कमी और ठीक होने की दर 97.61 प्रतिशत होने की वजह से लिया. शिक्षा विभाग के प्रधान सचिव संजय कुमार के मुताबिक कक्षाएं कुल छात्रों के आधे हिस्से के साथ संचालित होंगी और कोरोना वायरस के अन्य दिशा-निर्देशों का सख्ती से पालन करना अनिवार्य है.
Patna: Schools in Bihar reopen for students of classes 9-12th, after more than 9 months due to outbreak of COVID19 pandemic
— ANI (@ANI) January 4, 2021
"All COVID19 protocols including wearing a mask and social distancing being followed at the school," says a teacher of Govt Girls' Hr. Sec School, Bankipur pic.twitter.com/1xH4PGYvFZ
स्वास्थ्य विभाग के बुलेटिन के अनुसार राज्य में अब तक कोविड-19 के कुल 2,53,651 मामले सामने आये हैं, जिनमें 2,47,579 लोग इससे उबर चुके हैं. इससे राज्य में ठीक होने की दर 97.61 प्रतिशत हो गई है. बुलेटिन में कहा गया है कि राज्य में कोविड-19 के उपचाराधीन मरीजों की संख्या 4669 है, जबकि मृतकों की संख्या 1403 है. वहीं, नीतीश सरकार ने सोमवार से खुल रहे शिक्षण संस्थानों में छात्रों और कर्मचारियों द्वारा पालन किए जाने के लिए कोविड-19 सुरक्षा दिशानिर्देशों की एक सूची जारी की है. प्रधान सचिव ने कहा कि 15 दिनों की स्थिति की समीक्षा करने के बाद 18 जनवरी को आगे निर्णय लेगी. पढ़ें दिशा-निर्देश की खास बातें:-
- कक्षा नौ से बारहवीं कक्षा के लिए सरकारी और निजी दोनों स्कूलों सहित शैक्षणिक संस्थानों को चार जनवरी 2021 से फिर से खोलने का निर्णय 18 दिसंबर 2020 को संकट प्रबंधन समूह (सीएमजी) की बैठक में लिया गया था.
- कक्षा नौ से 12वीं के लिए खुलने वाले स्कूलों में कक्षाएं सामाजिक दूरी बनाये रखने के नियम के पालन की खातिर 50 प्रतिशत उपस्थिति के साथ चलेंगी. इसके साथ ही परिसर में सबके लिए मास्क अनिवार्य होगा.
- शिक्षा विभाग के प्रधान सचिव संजय कुमार ने कहा कि सभी छात्रों के लिए परिसर में मास्क पहनना अनिवार्य किया गया है, जिसके बिना उन्हें परिसर में प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी. इसके अलावा नौ से 12 तक की कक्षाएं 50 प्रतिशत उपस्थिति के साथ संचालित होंगी ताकि कक्षाओं में सामाजिक दूरी के नियम का पालन सुनिश्चित किया जा सके.
- प्रधान सचिव के मुताबिक, स्कूली बच्चों के बीच दो-दो मास्क वितरित किए जाएंगे. शिक्षकों को कक्षा में पालन किए जाने वाले कोविड-19 दिशानिर्देशों के बारे में जागरूक किया जाएगा.संस्थान प्रबंधन अपने परिसरों का सैनेटाइजेशन सुनिश्चित करेगा.
- स्कूल के अधिकारी इस बात पर ध्यान देंगे कि कोई छात्र कहीं बुखार से पीड़ित तो नहीं है या उसमें वायरस के कोई लक्षण तो नहीं हैं. जबकि छात्रों की चिकित्सीय जांच सरकारी स्कूलों में बिना क्रम के (रैंडम) आधार पर की जाएगी.
- सूत्रों ने कहा कि कोचिंग सेंटरों को कक्षाओं के अंदर सामाजिक दूरी बनाए रखते हुए कक्षाएं छात्रों की भौतिक मौजूदगी के साथ शुरू करने की योजना तैयार करनी होगी और क्षेत्रीय अधिकारियों से पूर्व अनुमति लेनी होगी.
- बिहार सरकार ने कोरोना वायरस महामारी के खिलाफ एहतियात के तौर पर 13 मार्च 2020 को सभी स्कूल, कॉलेज, कोचिंग संस्थानों, चिड़ियाघरों और सार्वजनिक पार्कों को 31 मार्च तक बंद करने की घोषणा की थी.
- राज्य सरकार द्वारा 22 मार्च 2020 को राज्यव्यापी लॉकडाउन लागू होने के बाद से शिक्षण संस्थान बंद रहे, इसके बाद 25 मार्च 2020 को राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन की घोषणा की गई.
- इससे पहले राज्य सरकार ने 28 सितंबर 2020 से नौवीं से बारहवीं कक्षा के स्कूलों को फिर से खोलने की घोषणा की थी, लेकिन कोविड-19 के बढ़ते मामलों के कारण स्कूल बंद रहे.
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