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बिहार के लिए राहत वाली बात, 38 जिलों में से 28 जिले कोरोना वायरस से दूर

कोरोना वायरस के संक्रमण की चेन को तोड़ने के लिए पूरा विश्व लगा हुआ है. बिहार के लिए राहत वाली बात है कि अब तक यह संक्रमण राज्य के 38 जिलों में से 28 जिलों में नहीं दिखाई दिया है.

Updated on: 08 Apr 2020, 04:25 PM

पटना:

विश्व भर में महामारी बन चुके कोरोना वायरस (corona virus) के संक्रमण की चेन को तोड़ने के लिए जहां पूरा विश्व लगा हुआ है, वहीं बिहार के लिए राहत वाली बात है कि अब तक इसका संक्रमण राज्य के 38 जिलों में से 28 जिलों में नहीं दिखाई दिया है. बिहार राज्य स्वास्थ्य विभाग के अनुसार कोरोना को लेकर बिहार सरकार (Bihar Government) प्रारंभ से ही सभी एहतियाती कदम उठा रही है. इसके तहत बाहर से आने वाले लोगों को गांव के बाहर रहने के लिए क्वारंटाइन सेंटर बनाए गए हैं वहीं बाहर से आने वाले लोगों पर नजर भी रखी जा रही है. ग्रामीण भी इसके लिए जागरूक नजर आ रहे हैं. कई गांवों में ग्रामीणों ने खुद ही गांव में प्रवेश करने वाले रास्तों में अवरोधक लगा दिया है. बाहर से आने वाले लोगों को भी ये लोग गांव में नहीं प्रवेश करने दे रहे.

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स्वास्थ्य विभाग के आंकड़ों के अनुसार, बुधवार सुबह तक बिहार के 10 जिलों में ही कोरोना के मरीज मिले हैं. इनमें सबसे अधिक सीवान में 10, पटना में 5, मुंगेर में 7, नालंदा में 2, गया में 5, गोपालगंज में 3, बेगूसराय में 3, लखीसराय, सारण और भागलपुर में एक-एक समेत कुल 38 कोरोना के मरीज मिले हैं. स्वास्थ्य विभाग के मुताबिक बुधवार की सुबह तक 4596 नमूने एकत्र किए गए हैं. राज्य के चार अस्पतालों में नमूनों की जांच कराई जा रही है.

स्वास्थ्य विभाग के एक अधिकारी दावा करते हैं कि बिहार में कोरोना वायरस से संक्रमित अधिकांश लोगों की या तो ट्रैवल हिस्ट्री है या फिर संक्रमित लोगों के संपर्क में आने से संक्रमित हुए हैं, जिनकी पहचान भी कर ली गई है. उल्लेखनीय है कि बिहार में संक्रमित लोग ठीक भी हो रहे हैं. राज्य में ऐसे 15 लोग हैं, जिन्हें इलाज के बाद अस्पताल से छुट्टी दे दी गई है. मंगलवार को भागलपुर मेडिकल कलेज अस्पताल में इलाजरत 6 मरीजों को वापस घर भेजा गया, इनमें दो मरीज मुंगेर के भी शामिल हैं. ठीक होने वाले मरीजों में पांच पटना के हैं जबकि छह मुंगेर और चार सीवान के हैं.

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मुंगेर के रहने वाले कोरोना वायरस से संक्रमित एक मररीज की मौत हो चुकी है, जो कतर से बिहार आया था. बिहार की राजधानी पटना में भी पिछले नौ दिनों में एक भी कोरोना पॉजिटिव नहीं मिला है.

पटना के सिविल सर्जन डॉ. आर. के. चौधरी कहते हैं कि समय रहते कोरोना संक्रमितों की पहचान होने और उनके अस्पताल पहुंच जाने के कारण कोरोना चेन नहीं बन पाई. इस चेन को तोड़ने में अभी तक सफलता मिली है. उन्होंने दावा करते हुए कहा कि पटना में संदिग्ध मरीजों की संख्या में भी कमी आई है. उन्होंने हालांकि लोगों से लॉकडाउन का पालन करने की अपील की है.

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