प्रशांत किशोर का विपक्ष के लिए रणनीति बनाना JDU को नहीं आ रहा रास, आरसीपी सिंह ने कही ये बड़ी बात

प्रशांत किशोर से बयान और विपक्ष के रणनीति बनाने से जेडीयू असहज नजर आ रही है. जेडीयू नेता पीके के खिलाफ थोड़ी तल्ख भी हो गए हैं. जेडीयू महासचिव आरसीपी सिंह ने दो टूक कहा कि अगर प्रशांत किशोर पार्टी छोड़कर जाना चाहें तो वह इसके लिए स्वतंत्र हैं.

प्रशांत किशोर से बयान और विपक्ष के रणनीति बनाने से जेडीयू असहज नजर आ रही है. जेडीयू नेता पीके के खिलाफ थोड़ी तल्ख भी हो गए हैं. जेडीयू महासचिव आरसीपी सिंह ने दो टूक कहा कि अगर प्रशांत किशोर पार्टी छोड़कर जाना चाहें तो वह इसके लिए स्वतंत्र हैं.

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Kuldeep Singh
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Prashant Kishor

प्रशांत किशोर( Photo Credit : फाइल फोटो)

चुनावी रणनीतिकार और जेपीयू उपाध्यक्ष प्रशांत किशोर ने विपक्ष के लिए रणनीति बनानी शुरू कर दी है. आगामी दिल्ली विधानसभा चुनाव के लिए वह अरविंद केजरीवाल के लिए रणनीति बनाते नजर आएंगे. मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ट्वीट कर इसकी जानकारी दी. हाल में प्रशांत किशोर ने नागरिकता संशोधन कानून (Citizenship Amendment Law) का विरोध किया था. इससे यह साफ हो गया था कि जेडीयू में शीर्ष नेतृत्व स्तर पर को-ऑर्डिनेशन का बहुत अभाव है. पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष होते हुए भी प्रशांत किशोर की टिप्पणियों से यह बात थोड़े हद तक इस्टेब्लिस होती जा रही है कि जेडीयू (JDU) को मुस्लिम हितों से कोई लेना देना नहीं है. जाहिर है इसी परसेप्शन के साथ मुस्लिम मतों का अगर ध्रुवीकरण होगा तो इसका सीधा फायदा आने वाले चुनाव में आरजेडी (RJD) को होने जा रहा है.

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बयानों से JDU नेता असहज
प्रशांत किशोर के बयानों और बागी तेवर से पार्टी असहज महसूस कर रही है. प्रशांत किशोर ने शुक्रवार को लगातार तीसरे दिन भी नागरिकता संशोधन विधेयक पर सवाल उठाए. इसके बाद जेडीयू महासचिव और नीतिश कुमार के करीबी आरसीपी सिंह ने साफ तौर पर कह दिया कि अगर प्रशांत किशोर पार्टी छोड़कर जाना चाहते हैं तो वह जा सकते हैं. उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि वैसे भी प्रशांत किशोर को अनुकंपा के आधार पर पार्टी में शामिल किया गया था.

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नीतीश और प्रशांत किशोर की आज मुलाकात
प्रशांत किशोर और जेडीयू प्रमुख व सीएम नीतीश कुमार के बीच मुलाकात होने वाली है. इस मुलाकात पर सभी की नजर रहेगी. कुछ दिनों से प्रशांत किशोर सक्रिय नहीं हैं. यही कारण है कि हाल में हुए उपचुनावों में भी चार में से तीन सीटों पर जेडीयू की करारी हार हुई है. पटना यूनिवर्सिटी में छात्र संघ चुनाव में जेडीयू का सूपड़ा साफ हो गया. इससे पहले पिछले साल ही पटना विश्वविद्यालय के छात्र संघ चुनाव में जेडीयू को अध्यक्ष पद पर जीत दिलाई थी.

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बीजेपी के विरोध के लिए करते है काम
इससे पहले प्रशांत किशोर पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी के लिए काम कर चुके हैं. इसके बाद आम आदमी पार्टी के लिए अब रणनीति बनाने के फैसले को लेकर जेडीयू में उनके खिलाफ बगावत के सुर उठने लगे हैं. इसे लेकर जेडीयू नेता असहज हो रहे हैं.

कौन हैं प्रशांत किशोर?

-राजनीतिक दलों के लिए रणनीति बनाते हैं
-IPAC के संस्थापक हैं
-2014 लोकसभा चुनाव में बीजेपी के लिए काम किया
-मोदी के चुनाव प्रचार अभियान की रणनीति बनाई
-2015 में जेडीयू-आरजेडी के चुनाव प्रबंधन की कमान संभाली
-2018 में जेडीयू के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बनाए गए
-CAB का विरोध करने पर पार्टी नेताओं ने सवाल उठाए
-यूनिसेफ में भी काम कर चुके हैं
-2011 में वाइब्रैंट गुजरात आयोजन से जुड़े

Source : कुलदीप सिंह

Nitish Kumar JDU prashant kishor
      
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