logo-image

'संसद का गतिरोध खत्म करने पीएम मोदी दें दखल, बढ़ाएं मॉनसून सत्र'

मनोज कुमार झा ने कहा कि विपक्ष से संवाद बहाली का आभास देते हुए सरकार ने विभिन्न मसलों पर चर्चा के लिए बातचीत ही बंद कर रखी है.

Updated on: 08 Aug 2021, 02:48 PM

highlights

  • राजद नेता मनोज कुमार झा का मोदी सरकार पर बड़ा हमला
  • सरकार बातचीत का सिर्फ कर रही दिखावा, कर रखा दरवाजा बंद
  • पीएम मोदी हस्तक्षेप कर दूर करें गतिरोध, करें विपक्ष से संवाद

पटना:

संसद के मॉनसून सत्र में पेगासस समेत अन्य मुद्दों पर जारी गतिरोध को दूर करने के बजाय मोदी सरकार (Modi Government) पर 'बातचीत का दरवाजा बंद' रखने का आरोप लगाते हुए राजद के वरिष्ठ नेता मनोज कुमार झा ने रविवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) से हस्तक्षेप करने की मांग की. इसके साथ ही उन्होंने कहा कि विपक्ष की चर्चा की मांग पर संसद (Parliament) के दोनों सदनों का जो वक्त जाया हुआ है, उसकी भरपाई के लिए मॉनसून सत्र को आगे बढ़ाया जाए. राज्यसभा सांसद औऱ विपक्ष की मुखर आवाज बतौर पहचान रखने वाले मनोज कुमार झा ने इसके साथ ही सरकार को इस बात को बार-बार दोहराने के लिए भी कठघरे में खड़ा किया कि 'मोदी सरकार बातचीत को तैयार' है. 

मोदी सरकार ने बातचीत से मुंह मोड़ा
समाचार एजेंसी पीटीआई से खास बातचीत में मनोज कुमार झा ने कहा कि विपक्ष से संवाद बहाली का आभास देते हुए सरकार ने विभिन्न मसलों पर चर्चा के लिए बातचीत ही बंद कर रखी है. उन्होंने दो-टूक लहजे में कहा कि कई बार उन्होंने ही देखा ही बातचीत की पहल को तैयार कई नेता विपक्ष के समक्ष सार्थक विकल्प रखने में नाकाम रहे हैं. इन नेताओं में विभिन्न मसलों पर आपस में ही कोई सहमति नहीं बनी है. गौरतलब है कि संसद के 19 जुलाई से शुरू हुए मॉनसून सत्र कई मसलों पर हंगामे की वजह से संसदीय कार्यवाही बुरी तरह प्रभावित हुई है. पेगासस जासूसी मामले में विपक्ष की चर्चा की मांग पर गतिरोध लगातार बना हुआ है.  एक अंतरराष्ट्रीय मीडिया समूह के प्रमुख लोगों के फोन टेप के खुलासे के बाद विपक्ष पेगासस मसले पर चर्चा के लिए अड़ा हुआ है.

यह भी पढ़ेंः Covishield-Covaxin के मिक्स डोज का बेहतर असरः ICMR

सरकार कर रही शत्रुता की भाषा का इस्तेमाल
पेगासस मसले पर चर्चा और संसद में जारी गतिरोध पर प्रतिक्रिया देते हुए मनोज कुमार झा ने कहा कि सरकार मीडिया के सामने यही दोहरा रही है कि वह विपक्ष से सामंजस्य बनाने को तैयार है. यह अलग बात है कि सरकार का रवैया 
विपक्ष की मांग को सिर्फ सुनना जैसा ही रहा है. मनोज कुमार झा ने सरकार पर शत्रुता की भाषा का इस्तेमाल करने का आरोप लगाते हुए कहा इसने गतिरोध दूर होने वाला संभावनाओं को भी क्षीण कर दिया है. हालांकि उन्होंने गेंद पीएम मोदी के पाले में डालते हुए कहा कि यदि प्रधानमंत्री खुद हस्तक्षेप करें और सभी मसलों पर चर्चा की बात कहें तो संसद में चर्चा हो भी सकती है. उन्होंने कहा कि यदि ऐसा संभव है तो संसद के बर्बाद गए समय की भरपाई के लिए सत्र बढ़ाया जा सकता है. हम 15 अगस्त को भी संसद में चर्चा के लिए तैयार हैं. 

यह भी पढ़ेंः Google ने डूडल बना याद किया सरला ठुकराल को, जानें कौन थीं यह महिला

कोरोना सच्चाई पर पर्दा डाल रही सरकार
मनोज कुमार झा ने राज्यसभा में कोरोना संक्रमण पर अपने बयान का हवाला देते हुए कहा कि सरकार सच्चाई से बेशर्मी से पल्ला झाड़ रही है. सरकार यही कहती रही है कि ऑक्सीजन की कमी से एक भी कोरोना मरीज की मौत नहीं हुई है. उन्होंने कहा कि जब जंग किसी महामारी से हो तो नाकामी या चूक को स्वीकारने से गुरेज नहीं करना चाहिए. ठीक जैसे आप उससे जूझने में मिली जीत को स्वीकार करते हैं. उन्होंने इसके लिए सिर्फ केंद्र सरकार को ही दोष देने के बजाय कहा कि कई राज्य सरकारें भी सच्चाई से साफतौर पर मुंह मोड़ रही हैं. उन्होंने कहा कि पेगासस ही चर्चा के लिए सर्वोच्च प्राथमिकता में नहीं है, बल्कि महंगाई, कृषि कानून जैसे कई मसले हैं, जिन पर चर्चा होनी ही चाहिए.