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दोहरी मार झेल रहा बिहार, कोरोना वायरस के बीच इस बीमारी से हुई एक और मौत

गर्मी की शुरुआत के साथ ही बिहार में एईएस यानी चमकी बुखार दस्तक दे चुका है. इस साल अभी तक 9 लोग इस बीमारी की चपेट में आ चुके हैं.

Updated on: 17 Apr 2020, 09:21 AM

पटना:

महामारी कोरोना वायरस (Corona Virus) से जंग के बीच बिहार में एक और बीमारी का कहर बढ़ता जा रहा है. एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम (AES) से राज्य में एक और मौत हो गई है. गर्मी की शुरुआत के साथ ही बिहार में एईएस यानी चमकी बुखार दस्तक दे चुका है. इस साल अभी तक 9 लोग इस बीमारी की चपेट में आ चुके हैं, जिसमें से यह तीसरी मौत हुई है. हालांकि 3 लोगों को इलाज के बाद अस्पताल से छुट्टी मिल चुकी है. बीमार मरीजों का मुजफ्फरपुर के श्री कृष्णा मेडिकल कॉलेज एंड हॉस्पिटल (SKMCH) में इलाज चल रहा है.

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इससे पहले 4 अप्रैल को मुजफ्फरपुर स्थित एसकेएमसीएच में एईएस के एक संदिग्ध मरीज की मौत हो गई थी. एसकेएमसीएच प्रशासन के मुताबिक, सीतामढ़ी के बाजपट्टी के निमाही गांव के संतोष राय अपनी पुत्री प्रीति कुमारी को लेकर पहुंचे थे. इसके बाद प्रीति को इमरजेंसी वार्ड में भर्ती कर इलाज प्रारंभ ही किया गया था कि उसकी मौत हो गई. इस साल 29 मार्च भी को सकरा के एक बच्चे की एईएस से मौत हो गई थी. उसकी पहचान सकरा के बैजूबुजुर्ग गांव के मुन्ना राम के साढ़े तीन वर्षीय पुत्र आदित्य कुमार के रूप में हुई थी.

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गौरतलब है कि पिछले कई साल से मुजफ्फरपुर और गया सहित राज्य के कई जिलों में एईएस का कहर यहां के बच्चों पर टूटता है. राज्य के कई इलाकों में एईएस का प्रकोप प्रारंभ हो जाता है, जिसकी चपेट में आने वाले अधिकांश कम उम्र के बच्चे होते हैं. पिछले साल भी इस बीमारी से करीब 150 बच्चों की मौत हुई थी.

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