Bihar Election 2025: लालू यादव के परिवार में इस समय चार बड़े चेहरे सक्रिय राजनीति में हैं, जिनमें तेजस्वी यादव, तेज प्रताप यादव, मीसा भारती और रोहिणी आचार्य शामिल हैं.
Bihar Election 2025: बिहार विधानसभा चुनाव से ठीक पहले लालू यादव का परिवार गहरी कलह का शिकार हो गया है. परिवार के अंदरूनी झगड़े अब खुले तौर पर सामने आ रहे हैं. बड़े बेटे तेज प्रताप यादव ने नई पार्टी बनाने का ऐलान कर दिया है, जबकि बेटी रोहिणी आचार्य ने भी सोशल मीडिया पर बागी तेवर दिखाए हैं. इन घटनाओं ने साफ संकेत दे दिया है कि राजद (RJD) परिवार में सबकुछ ठीक नहीं है.
लंबे समय से चल रहे थे तेज प्रताप नाराज
तेज प्रताप यादव लंबे समय से नाराज चल रहे थे. पार्टी और परिवार से दूरी बनाने के बाद अब उन्होंने अपनी अलग राजनीतिक राह पकड़ ली है. दूसरी ओर, तेजस्वी यादव इस बार के चुनाव को अपने राजनीतिक करियर का सबसे बड़ा इम्तिहान मान रहे हैं. 2020 विधानसभा और 2024 लोकसभा चुनाव में हार झेलने के बाद 2025 का यह चुनाव उनके लिए ‘डू ऑर डाई’ जैसा है. लेकिन सियासी जंग से पहले ही उन्हें अपने ही परिवार की अंदरूनी कलह से जूझना पड़ रहा है.
रोहिणा आचार्य का आक्रम अंदाज में
रोहिणी आचार्य, जिन्होंने तीन साल पहले अपने पिता को किडनी दान कर नई जिंदगी दी थी, इन दिनों सोशल मीडिया पर आक्रामक अंदाज में नजर आ रही हैं. उन्होंने आरोप लगाया है कि उनके खिलाफ झूठ फैलाया जा रहा है. रोहिणी ने साफ कहा कि उन्होंने कभी किसी के सामने कोई मांग नहीं रखी और गंदी सोच रखने वाले लोग ही इस तरह की बातें फैला रहे हैं. उनका यह बयान साफ करता है कि परिवार के भीतर सबकुछ सामान्य नहीं है.
संजय यादव का भी नाम आया सामने
इस पूरे विवाद के केंद्र में तेजस्वी यादव के करीबी माने जाने वाले संजय यादव का नाम भी सामने आ रहा है. तेजस्वी की एक यात्रा के दौरान संजय यादव के साथ आई तस्वीर ने ही रोहिणी और उनके बीच खटास को और बढ़ा दिया. माना जा रहा है कि रोहिणी का गुस्सा संजय यादव को लेकर ही भड़का है.
विरोधी दल राजनीतिक फायदा उठाने में जुटा
लालू यादव के परिवार में इस समय चार बड़े चेहरे सक्रिय राजनीति में हैं, जिनमें तेजस्वी यादव, तेज प्रताप यादव, मीसा भारती और रोहिणी आचार्य शामिल हैं. लेकिन भाई-बहनों की इस आपसी तकरार ने पार्टी की एकजुटता पर सवाल खड़े कर दिए हैं. विरोधी दल इसका राजनीतिक फायदा उठाने में जुट गए हैं.
बड़ा सवाल यही है कि लालू परिवार में जारी यह कलह चुनावी नतीजों पर कितना असर डालेगी. क्या तेज प्रताप की नई पार्टी और रोहिणी का बागी रुख, तेजस्वी यादव के मुख्यमंत्री बनने के सपने को चकनाचूर कर देगा? बिहार की राजनीति इस पारिवारिक संग्राम को गहराई से देख रही है.
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