पूर्वी बिहार के पूर्णिया जिले में भीड़ ने तीन महिलाओं समेत एक परिवार के पांच सदस्यों की रविवार शाम को हत्या कर दी और उन्हें जला दिया. आरोप है कि पांच लोगों में एक 45 वर्षीय महिला जादू-टोना करती थी. पुलिस ने बताया कि यह घटना रविवार शाम जिले के मुफ्फसिल थाना क्षेत्र के सुदूर टेटगामा गांव में हुई. पुलिस ने बताया कि मृतकों की पहचान बाबू लाल ओरांव (50), उनकी मां कांतो देवी (70), पत्नी सीता देवी (45), बेटा मंजीत कुमार (25) और बहू रानी देवी (22) के रूप में हुई है.
50 लोगों की भीड़ ने निशाना बनाया
बाबू लाल का छोटा बेटा 16 वर्षीय भागने में सफल रहा. इसके बाद उसने अपराध के बारे में पुलिस को बयान दिया. किशोर ने पुलिस को बताया कि उसकी मां सीता देवी रविवार शाम को उसके घर पर आई. 50 लोगों की भीड़ ने निशाना बनाया. जब परिवार के अन्य सदस्य उसकी रक्षा करने आए तो उन पर भी हमला हो गया. पुलिस ने बताया कि गांव वाले जब वहां से चले गए तो अपने साथ पीड़ितों के शव भी ले गए.
तलाशी में जले हुए अवशेष मिले
बाद में पुलिस की ओर से ली गई तलाशी में जले हुए अवशेष मिले. जांचकर्ताओं की ओर से हिरासत में लिए गए दो लोगों में एक ने कहा कि शवों को डीजल का उपयोग कर शवों को डीजल का उपयोग करके जलाया गया. पुलिस ने कहा, ग्रामीण घटना के बारे में चुप हैं. बयान में कहा गया है,"गांव में कोई भी पुलिस के साथ सहयोग नहीं कर रहा है और लड़के से मिले सुरागों के आधार पर दो लोगों को हिरासत में लिया गया है."