बिहार में इन दिनों कारण जो भी हो, परंतु बेटियां जलाई जा रही हैं. आज भी एक पीड़िता अस्पताल में पड़ी न्याय की भीख मांग रही है और जिंदगी और मौत के बीच झूल रही है. ऐसी कई बेटियां पहले भी 'परिवार की प्रतिष्ठा' को लेकर जलाई गई हैं. लड़की, युवती को जिंदा जला देने की घटनाएं बिहार में पिछले कई दिनों से लगातार सामने आ रही हैं. कई मामलों का पुलिस ने खुलासा किया है, परंतु कई मामले अभी भी अनसुलझे हैं.
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बिहार के पश्चिमी चंपारण जिले के नरकटियांगज में मंगलवार को एक लड़की को सिर्फ इसलिए जला दिया गया कि उसने गर्भवती होने के बाद अपने प्रेमी से शादी करने की इच्छा व्यक्त की. पश्चिम चंपारण पुलिस के एक अधिकारी बताते हैं कि युवक और नाबालिग के बीच प्रेम प्रसंग था और पीड़िता गर्भवती हो गई थी. इसके बाद वह आरोपी युवक पर लगातार शादी करने का जोर दे रही थी. इसी मांग से नाराज आरोपी युवक ने नाबालिग लड़की को जिंदा जला दिया, जिससे उसकी मौत हो गई.
इसी तरह मुजफ्फरपुर में एक लड़की से पड़ोस के एक युवक ने घर में घुसकर दुष्कर्म करने की कोशिश की और विरोध करने पर लड़की पर किरोसिन तेल छिड़ककर जिंदा जला दिया. अहियापुर थानाक्षेत्र में घटी इस घटना में पीड़िता की मां का आरोप है कि लड़का तीन साल से लड़की को परेशान कर रहा था, जिसकी शिकायत पुलिस से भी की थी. इस मामले में पीड़ित लड़की आज भी अस्पताल में जिंदगी और मौत के बीच झूल रही है और सिर्फ न्याय की गुहार लगा रही है. मुजफ्फरपुर के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक जयंतकांत ने बताया कि घटना की जानकारी मिलने के बाद त्वरित कार्रवाई करते हुए मुख्य आरोपी राजा राज को गिरफ्तार कर लिया गया है. आगे की कार्रवाई जारी है.
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बक्सर के इटाढ़ी थाना क्षेत्र में रोहतास के दिनारा बाजार लाकर एक विवाहित युवती को प्रतिष्ठा के नाम पर जला दिया गया. राहत की बात है कि करीब एक सप्ताह के बाद पुलिस ने इस मामले में मृतक के पिता, भाई और मां को गिरफ्तार कर लिया है. उधर, समस्तीपुर जिले के वारिसनगर के खेत से युवती का अधजला शव एक सप्ताह पहले बरामद किया गया था, परंतु अब तक मृतक की पहचान नहीं हो पाई है. उसे भी अपराधियों ने मुंह में कपड़ा डालकर पेट्रोल डाल जिंदा जला दिया था. हत्या से पूर्व उससे दुष्कर्म की आशंका भी व्यक्त की जा रही थी.
इधर, राज्य के पुलिस अधिकारी इन मामलों में ज्यादा कुछ नहीं कहते. एक वरिष्ठ अधिकारी इतना जरूर कहते हैं कि पुलिस सभी मामलों की जांच कर रही है. कई मामलों का खुलासा हो चुका है. पटना विश्वविद्यालय की समाजशास्त्र विभाग की प्रोफेसर रही भारती एस. कुमार कहती हैं कि पुलिस का अपराधियों को पकड़ना काम है और उन्हें करना चाहिए, परंतु इन घटनाओं के लिए समाजिक तौर पर भी लोगों को जागरूक करने की जरूरत है. अपराध की संस्कृति के खिलाफ सभी लोगों को जागना होगा तभी समाज से अपराध पूरी तरह से खत्म होगा. उन्होंने कहा कि घर और समाज ही पहला स्कूल होता है और घरों में लड़कों को नारी सम्मान के प्रति बताया जाना चाहिए. उन्होंने इसके लिए अशिक्षा को भी कारण बताया.
Source : आईएएनएस