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VIDEO : युवराज सिंह से छह गेंद में छह छक्‍के खाकर मैं गेंदबाज बन गया, जानें किसने कही यह बात

19 सितंबर 2007 का दिन, जो इतिहास में दर्ज हो गया है. भारत युवराज सिहं (yuvraj singh) ने इंग्‍लैंड के खिलाफ खेले गए मैच में स्‍टूअर्ट ब्रॉड (stuart broad) की छह लगातार गेंदों पर छह छक्‍के (yuvraj singh six sixes) जड़ दिए थे.

Updated on: 19 Sep 2019, 06:45 PM

New Delhi:

19 सितंबर 2007 का दिन, जो इतिहास में दर्ज हो गया है. भारत युवराज सिहं (yuvraj singh) ने इंग्‍लैंड के खिलाफ खेले गए मैच में स्‍टूअर्ट ब्रॉड (stuart broad) की छह लगातार गेंदों पर छह छक्‍के (yuvraj singh six sixes) जड़ दिए थे. 

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इस पर आपने युवराज सिंह और अन्‍य क्रिकेट दिग्‍गजों की बात तो खूब सुनी होगी, लेकिन आपको यह नहीं पता होगा कि उस ओवर को फेंकने वाले गेंदबाज स्‍टूअर्ट ब्रॉड ने क्‍या कहा था. युवराज के संन्यास लेने के बाद स्टुअर्ट ब्रॉड ने एक इंटरव्यू में कहा था कि युवराज सिंह ने उन्‍हें 6 छक्के जड़कर गेंदबाज बना दिया था. उन्‍होंने एक इंटरव्‍यू में कहा था कि जिस वक्त उन्होंने मुझे 6 छक्के मारे थे, तब मैं 21 साल का था. इस मैच में युवराज गेंद को शानदार तरीके से हिट कर रहे थे. वह युवराज का दिन था और उस दिन मेरी कोई कोशिश सफल नहीं हो पा रही थी. यह इंटरव्‍यू आपको आज फिर देखना और समझना चाहिए.

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भारत के कप्‍तान महेंद्र सिंह धोनी (ms Dhoni) बन चुके थे. भारत ने पहले बल्‍लेबाजी की और सलामी बल्‍लेबाज के रूप में गौतम गंभीर (Gautam Gambhir) और वीरेंद्र सहवाग (Virendra sahwag)क्रीज पर आ डटे. इस जोड़ी ने शानदार बल्‍लेबाजी की और पहले विकेट के लिए 136 रन बना डाले, इंग्‍लैंड के कई दिग्‍गज गेंदबाज बहुत हल्‍के साबित हो रहे थे. 136 रन के कुल योग पर वीरेंद्र सहवाग के रूप में पहला विकेट गिरा. सहवाग ने 52 गेंदों में 68 रन की पारी खेली. इस दौरान सहवाग ने चार चौके और तीन छक्‍के जड़े. इसके बाद बल्‍लेबाजी के लिए रॉबिन उथप्‍पा आए. हालांकि कुछ देर बाद ही 144 रन के कुल योग पर गौतम गंभीर भी आउट हो गए. गंभीर ने 41 गेंदों में 58 रन की पारी खेली. उन्‍होंने सात चौके और एक छक्‍का जड़ा. गंभीर के आउट होने पर कप्‍तान महेंद्र सिंह धोनी क्रीज पर आ चुके थे. हालांकि दूसरे छोर पर खड़े रॉबिन उथप्‍पा ज्‍यादा कुछ नहीं कर सके और चार गेंदों में छह रन बनाकर आउट हो गए.

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इसके बाद युवराज सिंह क्रीज पर आ चुके थे. किसी को भी नहीं पता था कि अब इतिहास बनने वाला है. एक ऐसा इतिहास जो कई दशकों तक याद रखा जाएगा. दरअसल 17वें ओवर में युवराज सिंह ने दो गेंदों में दो चौके मार दिए थे. इससे इंग्‍लैंड के खेमें खलबली मच गई. 17वें और 18वें ओवर के बीच में इंग्‍लैंड के एंड्रयू फ्लिंटॉफ ने युवराज सिंह के पास जाकर कुछ टिप्‍पणी की, ताकि उनका ध्‍यान भटकाया जा सके. युवराज सिंह बल्‍ला लेकर फ्लिंटॉफ की ओर बढ़े तो कप्‍तान धोनी ने उन्‍हें रोक दिया.

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इसके बाद 18वां ओवर स्‍टूअर्ट ब्रॉड लेकर आए, किसी को पता नहीं था कि क्‍या होने वाला है. तब युवराज सिंह छह गेंदों में 14 रन बनाकर खेल रहे थे. दूसरे छोर पर धोनी भी छह गेंदों में सात रन बना चुके थे. इस ओवर की पहली गेंद ब्रॉड ने युवराज सिंह को फेंकी तो गुस्‍साए युवराज ने ऐसा छक्‍का मारा कि गेंद स्‍टेडियम के बाहर चली गई. एक छक्‍का खाने के बाद ब्रॉड ने दूसरी गेंद युवराज के पैरों पर फेंकी, इस पर युवराज सिंह ने फ्लिक किया और बैकवर्ड स्‍क्‍वेयर लेग की ओर छक्‍का मार दिया. इसके बाद ब्रॉड ने तीसरी गेंद में लाइन ठीक की और सीधे स्‍टंप्‍स की ओर गेंद फेंकी, इस गेंद पर युवराज सिंह ने एक्‍स्‍ट्रा कवर के ऊपर से छक्‍के के लिए रवाना कर दिया.

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अब तक तीन गेंदों में तीन छक्‍के आ चुके थे और इंग्‍लैंड के खेमे में खलबली मच गई थी. अब स्‍टूअर्ट ब्रॉड ने बदलाव किया और अभी तक ओवर द विकेट गेंद कर रहे ब्रॉड अब राउंड द विकेट गेंद फेंकी. यह वाइड फुलटॉस हो गई, इसे युवराज कहां बख्‍शने वाले थे, युवराज ने बैकवर्ड प्‍वाइंट के ऊपर से उसे छक्‍के के लिए फिर भेज दिया. लाइन बदलने का भी कोई फायदा नहीं हुआ तो इंग्‍लैंड के कप्‍तान पॉल कालिंगवुड ने स्‍टूअर्ट ब्रॉड के साथ बातचीत की और मंत्रणा की, इस दौरान फील्‍ड में भी कुछ बदलाव किया गया. इसके बाद ब्रॉड पांचवीं गेंद लेकर आए. इस बार युवराज ने घुटने मैदान पर टेके और मिड विकेट के ऊपर से छक्‍का मार दिया.

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अब वह घड़ी आने वाली थी, जब इतिहास बनने वाला था, जो कई सालों और सदियों तक याद किया जाने वाला था. युवराज भी समझ गए थे कि आज चूकना नहीं है, अब चाहे जो हो मारना तो छक्‍का ही है. दूसरे छोर पर खड़े महेंद्र सिंह धोनी यह पूरा तमाशा देख रहे थे. उन्‍हें भी पता था कि युवराज मानने वाले नहीं हैं. ब्रॉड ने हाथ से गेंद छोड़ी और युवराज सिंह ने मिड ऑन के ऊपर से छक्‍का मार दिया. और इसी के साथ इतिहास रच दिया गया.

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इसी पारी का नतीजा था कि युवराज सिंह ने 12 गेंदों में अर्द्धशतक ठोक दिया था. यह पचासा अभी तक क्रिकेट के तीनों प्रारूपों में सबसे तेज बना हुआ है, कोई भी बल्‍लेबाज इसे तोड़ नहीं पाया है. इस पारी में युवराज सिंह ने तीन चौकों और सात छक्‍कों की मदद से कुल 58 रन बना दिए थे. इसी पारी की बदौलत भारत ने निर्धारित 20 ओवर में 218 रन बना दिए थे, लक्ष्य का पीछा करने उतरी इंग्‍लैंड की टीम छह विकेट के नुकसान पर 200 रन ही बना सकी और इस तरह भारत ने यह मैच 18 रन से जीत लिया.

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दुनिया के धाकड़ बल्‍लेबाजों में शुमार किए जाने वाले बाएं हाथ के बल्‍लेबाज युवराज सिंह ने इसी साल जून में क्रिकेट को अलविदा कह दिया था. उन्होंने 304 एक दिवसीय मैचों में 8701 रन बनाए, जिसमें उनके 14 शतक और 52 पचासे शामिल हैं. वहीं, 58 T-20 अंतरराष्‍ट्रीय मैचों में उनके नाम 1177 रन हैं. उन्‍होंने भारत के लिए 40 टेस्ट मैच भी खेले हैं, जिसमें तीन शतक और 11 अर्धशतकों के साथ 1900 रन बनाए हैं. युवराज के संन्‍यास के बाद भी लोग उन्‍हें आज भी याद करते हैं.