Tribute to Lata Mangeshkar: क्रिकेट की दीवानी लता जी
लता मंगेशकर को संगीत के अलावा जिन चीजों से प्रेम था, क्रिकेट उनमें अहम थी. क्रिकेट से उनका लगाव जगजाहिर रहा.
नई दिल्ली :
Lata Mangeshkar passes away: लता जी के निधन पर हर ओर गम का माहौल छाया हुआ है. देश में दो दिन का राष्ट्रीय शोक भी घोषित किया गया है. लता जी का जीवन संगीत से तो जुड़ा ही था लेकिन पर क्रिकेट के भी काफी करीब थी. लगभग हर क्रिकेट प्रेमी यह बात जानता है कि साल 1983 में जब भारत ने वर्ल्ड कप जीता था तो बीसीसीआई के पास क्रिकेटरों को इनाम देने के लिए पैसे नहीं थे. ऐसे में दिल्ली में आयोजित संगीत समारोह में लता जी ने मुफ्त में शो किया. इसमें 20 लाख रुपये इकट्ठे हुए, जो भारतीय क्रिकेटरों को पुरस्कार स्वरूप दिए गए. भारतीय क्रिकेट के जगमगाते सितारे सचिन तेंदुलकर, जिन्हें क्रिकेट का भगवान भी कहा जाता है, उन्हें लता मंगेशकर अपना बेटा मानती थीं. सचिन भी लता जी को ‘माई’ की तरह सम्मान देते थे. सचिन तेंदुलकर को भारत रत्न देने के लिए लता जी ने भी मांग की थी. लता मंगेशकर ने अपना आखिरी स्टेज शो सचिन के सम्मान में ही किया था.
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इसके अलावा जब लता मंगेशकर 30 वर्ष की थीं, तब उनके प्रेम संबंधों की भी काफी चर्चा रही थी. तमाम रिपोर्ट्स के मुताबिक इस दौरान राज सिंह डुंगरपुर के वह काफी करीब आ गईं थीं. डुंगरपुर राजघराने के युवराज थे. राज सिंह प्रथम श्रेणी के क्रिकेटर थे. वह राजस्थान रणजी टीम से खेलते थे. बताया जाता है कि डुंगरपुर 1959 में लॉ की पढ़ाई के लिए मुंबई आए थे. यहां हृदयनाथ मंगेशकर के जरिए लता जी से मुलाकात हुई थी. वह लता जी से विवाह करना चाहते थे लेकिन राजपरिवार को लता जी से शादी की बात मंजूर नहीं हुई. लता जी से उनका विवाह नहीं हो सका लेकिन क्रिकेट से लता जी का प्रेम जगजाहिर रहा.
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