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रोहित शर्मा ने किया ऋषभ पंत का बचाव, बोले- वह अभी युवा है, सीख जाएगा

जब सटीक रिव्यू की बात आती है तो महेंद्र सिंह धोनी का नाम एकदम से जेहन में आ जाता है, लेकिन सीमित ओवरों के प्रारूप में उनके उत्तराधिकारी ऋषभ पंत इसमें पूरी तरह नाकाम साबित हो रहे हैं

Updated on: 04 Nov 2019, 12:41 PM

नई दिल्ली:

India vs Bangladesh : जब सटीक 'रिव्यू' की बात आती है तो महेंद्र सिंह धोनी (Mahendra Singh Dhoni) का नाम एकदम से जेहन में आ जाता है, लेकिन सीमित ओवरों के प्रारूप में उनके उत्तराधिकारी ऋषभ पंत (Rishabh Pant) बांग्लादेश (India vs Bangladesh) के खिलाफ रविवार को दिल्‍ली के अरुण जेटली स्‍टेडियम (Arun Jaitley Stadium) में पहले टी20 (India Bangladesh First T20 Match) अंतरराष्ट्रीय मैच में इस मोर्चे पर पूरी तरह से नाकाम रहे, लगातार आलोचना के बाद अब कप्तान रोहित शर्मा (Rohit Sharma) ने उनका बचाव किया है. वह मैच का दसवां ओवर था, जब डीआरएस (DRS) को लेकर फैसले भारत के खिलाफ गए और आखिर में यह गलती टीम को महंगी पड़ी और उसे पहली बार बांग्लादेश से हार का सामना करना पड़ा.

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लेग स्पिनर युजवेंद्र चहल के इस ओवर की तीसरी गेंद पर मुशफिकुर रहीम पगबाधा आउट थे, लेकिन भारत ने 'रिव्यू' नहीं लिया. गेंदबाज या विकेटकीपर ऋषभ पंत (Rishabh Pant) ने इसके लिए कप्तान रोहित शर्मा (Rohit Sharma) को कोई सलाह भी नहीं दी. रहीम तब छह रन पर खेल रहे थे और बाद में वह 60 रन बनाकर नाबाद रहे. इसी ओवर की आखिरी गेंद पर सौम्या सरकार (somya sarkar) के खिलाफ ऋषभ पंत (Rishabh Pant) ने विकेट के पीछे कैच की अपील की, जिसे अंपायर ने ठुकरा दिया. पंत ने रोहित पर 'DRS' के लिये दबाव बनाया, लेकिन 'रिव्यू' से स्पष्ट हो गया कि गेंद बल्ले से लगकर नहीं गई थी. दर्शकों ने भी 'धोनी—धोनी' (Dhoni dhoni) की गूंज से ऋषभ पंत (Rishabh Pant) को गलती का अहसास कराया.

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रोहित शर्मा ने मैच के बाद स्वीकार किया कि इस तरह के 'रिव्यू' में कप्तान पूरी तरह से गेंदबाज और विकेटकीपर पर निर्भर होता है लेकिन उन्होंने भरोसा जताया कि ऋषभ पंत अभी युवा है और वह समय के साथ बेहतर फैसले करना सीख जाएगा. उन्होंने कहा, जब आप फैसला करने की सही स्थिति में नहीं होते हैं तो आपको फैसला लेने के लिए अपने गेंदबाज और विकेटकीपर पर भरोसा करना होता है. ऋषभ अभी युवा है और उसने बमुश्किल 10 से 12 टी20 (असल में 21) मैच खेले हैं, इसलिए उसे इस तरह की चीजों को समझने के लिए समय देने की जरूरत है.

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रोहित ने कहा, 'वह इस तरह के फैसला कर सकता है या नहीं इस पर अभी निर्णय करना जल्दबाजी होगी. उसे ऐसे फैसले करने के लिए हमें समय देना होगा. यही बात गेंदबाज पर भी लागू होती है. जब कप्तान फैसला करने के लिए सही स्थिति में नहीं होता है तो गेंदबाज और विकेटकीपर मिलकर फैसला करते हैं. भारतीय कप्तान ने हालांकि माना कि अगर मुशफिकुर रहीम के खिलाफ 'रिव्यू' लेने में गलती नहीं की होती तो टीम यह मैच जीत सकती थी.

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उन्होंने कहा, हमने मैदान पर कुछ फैसले अच्छे नहीं किए जो कि हमारे खिलाफ गए और आखिर में उस बल्लेबाज (रहीम) ने अर्धशतक जमायाण्‍ फैसला करने में हम यहां पर कमजोर साबित हुए. रोहित ने कहा, हमने रिव्यू लेने में गलती की. उसने (रहीम) पहली गेंद बैकफुट पर खेली और हमें लगा कि वह लेग साइड की तरफ जा रही है. अगली गेंद फ्रंट फुट पर थी लेकिन हम यह भूल गए कि वह कितनी शार्ट थी.