अमेरिका पर 9/11 आतंकी हमले के पीछे सऊदी अरब... FBI के सीक्रेट दस्तावेज दे रहे संकेत
अमेरिका के संघीय जांच ब्यूरो (FBI) की ओर से जारी किए गए गोपनीय दस्तावेज तो कुछ और भी इशारा कर रहे हैं.
highlights
- FBI ने आतंकी हमलों पर जारी किए 16 पन्नों के गोपनीय दस्तावेज
- सऊदी अरब से आतंकियों को मिला था साज-ओ-सामान और मदद
- सऊदी अरब सरकार की संलिप्तता के नहीं मिले हैं कोई भी सबूत
वॉशिंगटन:
अभी तक यही माना जा रहा था कि अमेरिका (America) में 9/11 आतंकी हमलों के पीछे सिर्फ और सिर्फ ओसामा बिन लादेन के नेतृत्व वाले आतंकी संगठन अल-कायदा (Al Qaeda) का हाथ था, लेकिन अमेरिका के संघीय जांच ब्यूरो (FBI) की ओर से जारी किए गए गोपनीय दस्तावेज तो कुछ और भी इशारा कर रहे हैं. इन दस्तावेजों में न्यूयॉर्क के ट्विन टॉवर समेत अन्य प्रतीकों पर हमले के लिए सऊदी अरब (Saudi Arab) से फंडिंग और साज-ओ-सामान मुहैया कराने की बात सामने आ रही है. हालांकि इन दस्तावेजों में यह स्पष्ट तौर पर नहीं कहा गया है कि इन आतंकी हमलों (Terror Attack) की जानकारी सऊदी अरब सरकार को थी. एफबीआई के इन दस्तावेजों में विमान अपहरण करने वाले दो लोगों को साऊदी अरब से मिले साज-ओ-सामान का जिक्र है. 16 पन्नों के इन दस्तावेजों में सऊदी सरकार को लेकर साफ-साफ कुछ नहीं कहा गया है.
बाइडन पर गोपनीय दस्तावेजों को जारी करने का था भारी दबाव
गौरतलब है कि अमेरिकी राष्ट्रपति का पदभार संभालते ही जो बाइडन ने 11 सितंबर के आतंकी हमलों पर इन दस्तावेजों को जारी करने के निर्देश दिए थे. ऐसे में सालों तक बेहद गोपनीय करार दिए गए यह दस्तावेज शनिवार को आतंकी हमलों की 20वीं बरसी पर एफबीआई ने जारी किए. दस्तावेजों में कहा गया है कि आतंकी हमलों के लिए विमान के अपहरणकर्ता अमेरिका में सऊदी अरब के अपने साथियों के साथ संपर्क में थे, लेकिन इसका कोई सबूत नहीं है कि आतंकी साजिश में सऊदी अरब सरकार भी शामिल थी.
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आतंकी हमलों के पीड़ित परिवार कर रहे थे मांग
प्राप्त जानकारी के मुताबिक अमेरिका पर आतंकी हमलों के पीड़ितों के परिवारों ने बाइडन पर दस्तावेज जारी करने का भारी दबाव बना रखा था. लंबे समय से पीड़ितों के परिजन इन रिकॉर्ड्स को जारी करने की मांग कर रहे हैं. पीड़ितों के परिवारों का मानना है कि ये गोपनीय दस्तावेज न्यूयॉर्क में चल रहे उनके मुकदमे में मददगार साबित हो सकते हैं. पीड़ित परिवारों का आरोप है कि सऊदी अरब के वरिष्ठ अधिकारियों की हमलों में मिलीभगत थी. यह अलग बात है कि सऊदी अरब सरकार आतंकी हमलों में किसी भी संलिप्तता से इंकार करती आई है.
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सऊदी सरकार ने किया है आतंकी हमलों में संलिप्तता से इंकार
वॉशिंगटन में सऊदी दूतावास ने कहा भी था कि वह सभी गोपनीय दस्तावेज जारी करने का समर्थन करते हैं ताकि हमेशा के लिए उसकी सरकार के खिलाफ निराधार आरोप खत्म हो जाए. शनिवार को जारी दस्तावेज में 2015 में एक ऐसे व्यक्ति के साक्षात्कार की जानकारी दी गयी है जिसने अमेरिकी नागरिकता के लिए आवेदन दिया था और कई साल पहले सऊदी अरब के उन नागरिकों से बार-बार संपर्क किया था. जांचकर्ताओं का कहना है कि इन्हीं नागरिकों ने आतंकी हमलों के लिए विमान अपहरणकर्ताओं को अहम साज-ओ-सामान संबंधी सहयोग दिया था.
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