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पश्चिम बंगाल में चुनाव बाद हिंसा से लेकर राजनीतिक बयानबाजी तक... जानें कब क्या हुआ

पश्चिम बंगाल में 2 मई को चुनाव के नतीजे आने के बाद से ही शुरू हुआ बवाल अभी खत्म नहीं हुआ है. मामला फैक्ट फाइंडिंग कमेटी से लेकर सुप्रीम कोर्ट तक पहुंच चुका है.

Updated on: 02 Jul 2021, 03:24 PM

नई दिल्ली:

पश्चिम बंगाल में 2 मई को चुनाव के नतीजे आने के बाद से ही शुरू हुआ बवाल अभी खत्म नहीं हुआ है. मामला फैक्ट फाइंडिंग कमेटी से लेकर सुप्रीम कोर्ट तक पहुंच चुका है. कलकत्ता हाईकोर्ट ने शुक्रवार को ही इस मामले में आदेश दिया है कि पुलिस को हिंसा के पीड़ितों के सभी मामले दर्ज करे. राज्य सरकार को सभी पीड़ितों के लिए चिकित्सा उपचार सुनिश्चित कर ने और राशन कार्ड न होने पर भी प्रभावितों के लिए राशन सुनिश्चित करने का निर्देश दिया गया है. इस मामले को लेकर केंद्र और राज्य सरकार आमने सामने हैं. लगातार बयानबाजी हो रही हैं. जानें इस मामले में किसने क्या कहा... 

चुनाव के बाद बंगाल में हिंसा

•        बंगाल में 2  मई को चुनाव नतीजे के बाद से ही हिंसा की शुरुआत
•        2  मई की शाम से 6  मई तक बंगाल में हिंसा से 17  लोगों की मौत हुई
•        4  मई तक हिंसा में 12  लोगों की मौत हो चुकी थी
•        ममता ने कहा हिंसा उन इलाकों में ज्यादा हो रही है जहां बीजेपी जीती है
•        ममता ने कहा  हिंसा के लिए फर्जी वीडियो और तस्वीरों का इस्तेमाल किया गया
•        ममता ने कहा बीजेपी इस आग में घी डालने का प्रयास कर रही है


बंगाल हिंसा पर ममता बनाम धनकड़

•        धनकड़ - राज्य में चुनाव बाद हिंसा अब भी जारी है और ये मानवता को शर्मसार कर देगी.
•        धनकड़ - राज्य पुलिस बर्बरता में शामिल लोगों को प्रोत्साहित कर रही है
•        ममता - हिंसा उन इलाकों में ज्यादा हो रही है जहां बीजेपी जीती है
•        ममता - बीजेपी इस आग में घी डालने का प्रयास कर रही है

बंगाल हिंसा - एनएचआरसी टीम पर हमला

•        एनएचआरसी बंगाल हिंसा की अभी जांच कर रही है
•        29  जून को जांच के लिए पहुंची टीम पर हमला भी हुआ
•        कोलकाता में ये टीम जांच कर रही थी
•        एनएचआरसी के उपाध्यक्ष आतिफ रशीद ने टीम के सदस्यों पर हमले का दावा किया
•        ये टीम हिंसा के दौरान मानवाधिकार उल्लंघनों की जांच के लिए पहुंची थी
•        हमले के बाद बीजेपी ने कहा ‘‘बंगाल में लोकतंत्र बर्बाद हो रहा है
•        टीएमसी ने कहा ,घटना में सत्तारूढ़ पार्टी से कोई शामिल नहीं था

बंगाल हिंसा पर एसआईटी जांच की मांग

•        हिंसा का मामला कलकत्ता हाईकोर्ट भी पहुंचा
•        याचिका में हिंसा की एसआईटी जांच की मांग की गयी
•        7  मई को हाईकोर्ट ने सुनवाई के बाद राज्य सरकार से रिपोर्ट तलब किया
•        एसआईटी जांच की मांग को लेकर सुप्रीम कोर्ट में भी याचिका दी गयी '
•        25  मई को सुप्रीम कोर्ट ने बंगाल सरकार और केंद्र सरकार से जवाब देने को कहा
•        हिंसा में मारे गए बीजेपी कार्यकर्ताओं के परिवार के अलावा कई लोगों ने याचिकाएं दाखिल की हैं.
•        पश्चिम बंगाल की एक 60 वर्षीय महिला ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर कर कहा है कि तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने चार मई की रात को उसके पोते के सामने उसके साथ सामूहिक रेप किया.
•        याचिका में चुनाव बाद की हिंसा और बलात्कार की घटनाओं की एसआईटी से जांच की मांग की गई है.
•        कहा गया है कि जिस तरह गोधरा कांड की जांच के लिए सुप्रीम कोर्ट ने एसआईटी का गठन किया था, उसी तरह पश्चिम बंगाल में चुनाव बाद की हिंसा और बलात्कार की घटनाओं की जांच के लिए एसआईटी का गठन किया जाए.
•        याचिका में केंद्र को राज्य में राष्ट्रपति शासन लगाने जैसे कदम उठाने के निर्देश देने की भी मांग की गई है.
•        जुलाई को सुप्रीम कोर्ट ने एसआईटी से जांच कराने, पीड़ितों को मुआवजा या आर्थिक मदद देने और सुरक्षा मुहैया कराने की मांग वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने पश्चिम बंगाल और केन्द्र को नोटिस जारी किया है.

बंगाल हिंसा पर फैक्ट फाइंडिंग कमेटी की रिपोर्ट

•        हिंसा पर सिविल सोसायटी ग्रुप ने रिपोर्ट तैयार की है
•        कॉल फॉर जस्टिस नाम की एक संस्था ने सरकार को यह रिपोर्ट सौंपी है
•        पांच सदस्यीय कमेटी ने ये रिपोर्ट तैयार की
•        रिपोर्ट तैयार करने वालों में दो सेवानिवृत्त आईएएस और एक आईपीएस अधिकारी शामिल थे
•        कमेटी के सदस्यों ने 63 पेज की एक रिपोर्ट तैयार की है
•        200 से ज्यादा तस्वीरें, करीब 50 से ज्यादा वीडियो एनालिसिस करके यह रिपोर्ट तैयार की गई है.
•        टीम बंगाल गयी थी , यह टीम ग्राउंड पर लोगों से भी मिली
•        रिपोर्ट में बताया गया की हिंसा के करीब 15 हजार मामले हुए
•         25 लोगों की जान गई और सात हजार से अधिक महिलाओं का उत्पीड़न हुआ
•        पश्चिम बंगाल के 16 जिले हिंसा से प्रभावित हुए
•        कई लोगों को हिंसा के चलते बंगाल छोड़कर असम, झारखंड और ओडिशा में शरण लेनी पड़ी
•        29  जून को कमिटी ने गृह राज्य मंत्री जी किशन रेड्डी को रिपोर्ट सौंपी
•        रिपोर्ट में ममता बनर्जी की सरकार को हिंसा रोकने में फेल बताया गया है.
•        कमेटी ने पाया कि राज्य सरकार नागरिको के मूल अधिकार के संरक्षण में फेल रही
•        चुनाव के बाद हुई हिंसा संगठित हिंसा ( प्रीमेडिटेटेड हिंसा) थी
•        जो निर्दोष लोगों पर अटैक कर रहे थे वो क्रिमिनल, माफ़िया डॉन थे
•        एक खास पार्टी के लोगों पर टारगेट करके हमले किए गए
•        पुलिस ने बड़ी लापरवाही की. शिकायत करने वाले पर ही केस दर्ज किए गए.
•        शिकायत के बावजूद पुलिस ने किसी को गिरफ्तार नहीं किया
•        कई लोग घर छोड़कर पलायन कर गए उनके घरों को जला दिया गया
•        एक खास पार्टी के लोगों के आधार कार्ड, राशन कार्ड छीन लिए गए.
•        कार्ड वापसी के लिए तोलाबाजी (प्रोटेक्शन मनी) भी लेने की धमकी दी गई.
•        कई जगहों पर क्रूड बम और पिस्टल की अवैध फैक्ट्री भी मिलीं

बंगाल हिंसा पर ममता के बयान

•        4  मई - प्रशासन पिछले तीन महीनों से मेरे हाथ में नहीं था
•        4  मई  - राज्य में कानून व्यवस्था की स्थिति से निपटना उनकी प्राथमिकता होगी
•        8  मई - हार हजम नहीं कर पा रही BJP, फर्जी वीडियो पोस्ट कर रही
•        8  मई - चुनाव जीतने में नाकाम रहने के बाद हिंसा भड़का रही बीजेपी
•        10  मई - पश्चिम बंगाल में शांति है, कहीं पर भी हिंसा नहीं हो रही है।
•        17  जून - छिटपुट घटनाओं को छोड़कर राजनीतिक हिंसा की कोई घटना नहीं घट रही है

हवाला - हवाला जैन मामले पर ममता बनाम धनकड़

•        ममता - गवर्नर एक भ्रष्ट व्यक्ति हैं..मुझे ऐसा कहने के लिए माफ़ करें
•        ममता - उनका नाम 1996 हवाला जैन मामले की चार्जशीट में था
•        धनकड़ -मुझे किसी सीनियर राजनेता से इसकी उम्मीद नहीं थी
•        धनकड़ - मेरा नाम किसी चार्जशीट में नहीं है और ऐसा कोई दस्तावेज नहीं है

मुकुल राय पर ममता बनाम - राज्यपाल

•        ममता - मुकुल की घर वापसी हुई है
•        ममता - मुकुल को पीएसी अध्यक्ष बनाना चाहती हैं
•        धनकड़ -  एंटी डिफेक्शन लॉ बंगाल में पूरी तरह से लागू होगा.
•        धनकड़ - देश के अन्य राज्यों के मुकाबले इसकी ज्यादा जरूरत यहां है.