What is Mpox (monkeypox) Virus: दुनियाभर 116 देशों में एमपॉक्स यानी मंकी पॉक्स वायरस का आंतक फैला हुआ है. वर्ल्ड हेल्थ ऑर्गेनाइजेशन ने इस बीमारी को ग्लोबल हेल्थ इमरजेंसी घोषित किया है. इससे पीड़ित शख्स की स्कीन पर गांठें-गांठे सी हो जाती है. 1958 में इस वायरस की खोज बंदरों में की गई थी. आइए जानते हैं कि एमपॉक्स क्या है, कैसे फैलता है, इसके लक्षण और बचाव क्या हैं.
क्या है एमपोक्स या मंकीपॉक्स? (What is Mpox)
WHO के अनुसार, एमपॉक्स एक वायरल बीमारी है, जो मंकीपॉक्स वायरस के कारण होती है. यह एक संक्रामक बीमारी है. मतलब ये कि एमपॉक्स से पीड़ित शख्स के संपर्क (छूना, किसिंग, और सेक्स) में आने पर या फिर उसका झूठा खाने से ये बीमारी फैलती है. इतना ही नहीं, संक्रमित जानवर के संपर्क में आने पर भी ये बीमारी हो सकती है. ऐसे में इस बीमारी से बचने के लिए लोगों को विशेष सावधानी बरतने की जरूरत है.
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यह बीमारी गर्भवती मां से उसके पेट में पल रहे बच्चे को भी हो सकती है. एक से अधिक लोगों के साथ सेक्स करने वाले लोगों को भी यह बीमारी होने का अधिक खतरा होता है.
बता दें कि एमपॉक्स का पहला मामला 1970 में रिपब्लिक ऑफ कांगो में नौ महीने का बच्चा था. डब्ल्यू एचओ के मुताबिक, इस साल अब तक रिपोर्ट किए गए मामलों की संख्या पिछले साल की कुल संख्या से ज्यादा हो गई है, जिसमें 15,600 से ज्यादा मामले और 537 मौतें शामिल हैं.
एमपॉक्स के लक्षण? (Mpox Symptoms)
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एमपॉक्स वायरस से पीड़ित शख्स की स्कीन पर लाल चकत्ते या म्यूकोसल घाव हो जाते हैं, जो 2-4 सप्ताह तक रह सकते हैं.
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मरीज को तेज बुखार, गले में खराश, सिरदर्द, मांसपेशियों में दर्द, पीठ दर्द, अत्यधिक थकावट और सूजे हुए लिम्फ नोड्स यानी शरीर पर गांठें-गांठें भी हो सकती हैं.
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एमपॉक्स से पीड़ित ज्यादातर लोग पूरी तरह से ठीक हो जाते हैं, लेकिन कुछ गंभीर रूप से बीमार भी हो सकते हैं.
एमपॉक्स की जांच कैसे? (Mpox Test)
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एमपॉक्स का इलाज क्या? (Mpox Treatment)
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एमपोक्स से पीड़ित शख्स का इलाज अभी सपोर्टिक ट्रीटमेंट से किया जाता है.
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कुछ देशों में कुछ परिस्थितियों में एमपोक्स से पीड़ित के इलाज में चेचक (smallpox) के लिए स्वीकृत वैक्सीन और दवाओं से किया जा रहा है.
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हालांकि, इस बीमारी से बचने का सर्वोत्तम उपाय ये है कि संक्रमित मरीज के संपर्क में आने से बचा जाए.
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एमपॉक्स वैक्सीन लगवाने से संक्रमण को रोकने में मदद मिल सकती है. टीका एमपॉक्स से पीड़ित व्यक्ति के संपर्क में आने के 4 दिनों के भीतर दिया जाना चाहिए.
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अगर कोई व्यक्ति संक्रमित शख्स के संपर्क में आ गया है, और उसको कोई लक्षण नहीं है तो ऐसे शख्स को 14 दिन के अंदर एमपॉक्स वैक्सीन लगवानी चाहिए.
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