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19 साल के 'हाइब्रिड मिलिटेंट' की हत्या से घाटी का माहौल गर्म, महबूबा मुफ्ती ने दिया तीखा बयान

महबूबा मुख्ती से जब सरकारी आवास को खाली करने के संदर्भ में जारी नोटिस के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि अपना आवास छोड़ने की चिंता नहीं है.

Updated on: 23 Oct 2022, 04:03 PM

नई दिल्ली:

जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती ने शनिवार को एक बार फिर विवाद खड़ा कर दिया, क्योंकि उन्होंने 19 वर्षीय एक आतंकी की हत्या का विरोध किया, जिसे पुलिस द्वारा हाइब्रिड आतंकवादी  घोषित किया गया था. जम्मू-कश्मीर में ऐसे आतंकी जनता के बीच रहकर नागरिकों और पुलिस बलों पर गुप्त तरीके से हमला करते हैं. ऐसे आतंकी बहुत सफाई से आम जनता बने रहते हैं और पुलिस-प्रशासन और कानून से बचकर हत्या को अंजाम देते हैं.  

महबूबा मुख्ती से जब सरकारी आवास को खाली करने के संदर्भ में जारी नोटिस के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा कि अपना आवास छोड़ने की चिंता नहीं है. मुफ्ती ने कहा कि वह अपना आवास छोड़ने के लिए तैयार थीं और यह कोई बड़ा मुद्दा नहीं था, लेकिन उन्होंने आलोचना की कि कैसे टेलीविजन चैनल उनके आवास के मुद्दे पर बहस कर रहे थे और इमरान गनई नाम के एक 19 वर्षीय युवक की हत्या पर चर्चा नहीं कर रहे थे. वह शोपियां में मारा गया. उन्होंने कहा कि वह हैरान थी कि मीडिया ने इस खबर को पूरी तरह से नजरअंदाज कर दिया.

मुफ्ती ने कहा कि उनके आवास के मुद्दे से बड़ी कई अन्य समस्याएं थीं. वह अपनी बेटी के साथ अनंतनाग के बिजबेहरा गईं. उन्होंने अपने पिता, पीडीपी संस्थापक और पूर्व सीएम मुफ्ती मुहम्मद सईद की कब्र पर भी श्रद्धांजलि अर्पित की.

मुफ्ती ने आगे कहा कि इमरान केवल एक आरोपी थे और उनके खिलाफ कोई अपराध साबित नहीं हुआ था, लेकिन जिस तरह से उन्हें मारा गया वह निंदनीय था. पुलिस ने शोपियां में कथित तौर पर ग्रेनेड फेंकने और दो गैर-स्थानीय निवासियों को मारने के आरोप में युवक को गिरफ्तार किया था, और बाद में उसे "हाइब्रिड आतंकवादी" घोषित कर दिया था. लेकिन, उसकी गिरफ्तारी के दूसरे दिन, पुलिस ने दावा किया कि इमरान को एक अन्य आतंकवादी ने गोली मार दी थी.