सिर्फ 3 महीने में ही मंगल ग्रह तक पहुंच जाएंगे इंसान, NASA ने बनाई ये योजना
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक मौजूदा समय में इंसानों को मंगल ग्रह पर भेजने के लिए सबसे बड़ी चुनौती रॉकेट को लेकर है. दरअसल, अभी जो रॉकेट मौजूद हैं वो मंगल तक पहुंचने में न्यूनतम 7 महीने का समय लगता है.
highlights
- पृथ्वी से करीब 23 करोड़ किलोमीटर दूर मंगल ग्रह तक इंसानों का पहुंचना अभी भी एक बड़ी चुनौती
- नासा ने इस चुनौती का सामना करने के लिए परमाणु शक्ति युक्त रॉकेट बनाने की योजना बनाई
नई दिल्ली :
NASA Mars Mission: 2035 तक मंगल ग्रह पर इंसानों को भेजने की तैयारियों में जुटी अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा (NASA) ने एक बड़ी योजना बनाई है. दरअसल, पृथ्वी से करीब 23 करोड़ किलोमीटर सुदूर मंगल ग्रह तक इंसानों का पहुंचना अभी भी एक बड़ी चुनौती बनी हुई है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक नासा ने इस चुनौती का सामना करने के लिए परमाणु शक्ति युक्त रॉकेट बनाने की योजना बनाई है. जानकारों का कहना है कि अगर नासा रॉकेट बनाने में कामयाब हो जाता है तो इसके जरिए सिर्फ तीन महीने में इंसानों को मंगल ग्रह पर भेजा जा सकेगा. इसके साथ ही नासा के लिए अंतरिक्ष मिशन में एक बड़ी सफलता भी साबित होगी. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक मौजूदा समय में इंसानों को मंगल ग्रह पर भेजने के लिए सबसे बड़ी चुनौती रॉकेट को लेकर है. दरअसल, अभी जो रॉकेट मौजूद हैं वो मंगल तक पहुंचने में न्यूनतम 7 महीने का समय लगता है. इंसानों को इन रॉकेट के जरिए भेजने के बाद मंगल तक पहुंचते समय रास्ते में ऑक्सीन की कमी का सामना करना पड़ता है.
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अंटार्कटिका से भी अधिक ठंडी है मंगल ग्रह की सतह
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इस बात की भी चिंता रहती है कि मंगल ग्रह का वातावरण इंसानों के अनुकूल नहीं है. अंटार्कटिका से भी अधिक ठंडा और कम ऑक्सीजन की वजह से मंगल ग्रह इंसानों के लिए काफी खतरनाक भी है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक नासा के स्पेस टेक्नोलॉजी मिशन डायरेक्ट्रेट की चीफ इंजिनियर जेफ शेही का कहना है कि मौजूदा समय में ज्यादातर रॉकेट में केमिकल इंजन लगे हैं और यह इंसानों को मंगल ग्रह तक पहुंचा सकते हैं लेकिन लंबी यात्रा के लिए यह अनुकूल नहीं है. उनका कहना है कि पृथ्वी से टेक ऑफ करने और वापस आने में इस रॉकेट को तीन साल का समय लग सकता है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक नासा चालक दल को अंतरिक्ष में कम से कम समय में मंगल ग्रह तक पहुंचाने के लिए परमाणु शक्ति से लैस रॉकेट को बनाने की योजना बना रहा है.
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सिर्फ तीन महीने में ही पहुंचने की तैयारी कर रहा है नासा
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक नासा के वैज्ञानिक मंगल ग्रह तक पहुंचने में लगने वाले समय को कम करना चाह रहे हैं, जिसकी वजह से इस योजना को बनाया गया है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक नासा को सिएटल स्थित कंपनी अल्ट्रा सेफ न्यूक्लियर टेक्नोलॉजीज ने एक परमाणु थर्मल प्रोपल्शन (NTP) इंजन बनाने का प्रस्ताव दिया हुआ है. जानकारों का कहना है कि इस इंजन से युक्त रॉकेट के जरिए मंगल ग्रह तक सिर्फ तीन महीने में ही पहुंचा जा सकता है. बता दें कि मौजूदा समय में मानवरहित अंतरिक्ष यान के जरिए मंगल ग्रह तक जाने में कम से कम 7 महीने का समय लगता है.
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