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सावन शिवरात्रि पर भगवान शिव की पूजा करने से होंगी मनोकामनाएं पूरी

इस बार का सावन बेहद खास है और आज सावन की शिवरात्रि मनाई जाएगी। साल में दो शिवरात्रियां मनाई जाती है।

Updated on: 21 Jul 2017, 08:34 AM

नई दिल्ली:

इस बार का सावन बेहद खास है और आज सावन की शिवरात्रि मनाई जाएगी। साल में दो शिवरात्रियां मनाई जाती है। पहली फाल्गुन के महीने में और वहीं दूसरी शिवरात्रि सावन के महीने में मनाई जाती है।

इन दोनों शिवरात्रियों में भगवान शिव की विशेष पूजा की जाती है और अलग-अलग शिवरात्रियों का विशेष महत्व होता है। भगवान शिव की इस महीने अपार महिमा बरसती है। भक्त पूजा और व्रत रखकर भगवान शिव को प्रसन्न करते है।

इस बार सावन सोमवार से शुरू होकर सोमवार को ही संपन्न होगा। ऐसा संयोग कई सालों बाद आया है। सावन के पूरे महीने भगवान शिव का जलाभिषेक करना बेहद फलदायी होता है। 

सच्चे मन से भगवान शिव की पूजा करने से सारी मनोकामनाएं पूर्ण होती है। शिवरात्रि में शिवलिंग पर जलाभिषेक करना आवश्यक माना गया है। इससे भगवान शिव जल्दी प्रसन्न होते हैं। शिवरात्रि में शिवलिंग पर जलाभिषेक करने से भगवान शिव जल्दी प्रसन्न होते हैं। इस महीने रुद्राभिषेक करने से भक्तों के समस्त पापों का नाश हो जाता है।

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पूजा विधि
सावन के दिन भोलेनाथ को बेलपत्र, धतूरा, भांग, शहद आदि अर्पित कर विशेष पूजन करना चाहिए। ऐसा माना जाता है कि इससे परिवार की स्वास्थ्य समस्याएं दूर होती हैं। सुबह जल्दी उठ नहा-धोकर भगवान शिव पूजन बेलपत्र, धतूरा, भांग, शहद, विशेष फूल से करें।

इससे आपकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण होंगी। शिवपुराण के अनुसार बेलपत्र भगवान शिव को बहुत प्रिय है। बेलपत्र की तासीर ठंडी होती है इसलिए इसका प्रयोग भगवान शिव की पूजा में किया जाता है। पूजा में बेलपत्र इस्तेमाल करने से सरे पाप कट जाते है।

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