logo-image

Sawan Masik Durgashtami 2022 Pujan Disha: गलत दिशा में की गई पूजा का नहीं मिलता पूर्ण फल, जानें दुर्गाष्टमी पर माता रानी की सही पूजन दिशा

Sawan Masik Durgashtami 2022 Pujan Disha: ज्योतिष शास्त्र (Astrology) के अनुसार, मासिक दुर्गा अष्टमी की पूजा करते समय मां दुर्गा के निमित्त दीपक जलाकर सही दिशा में पूजा करने से व्यक्ति के समस्त कष्ट दूर हो जाते हैं.

Updated on: 04 Aug 2022, 04:07 PM

नई दिल्ली :

Sawan Masik Durgashtami 2022 Pujan Disha: हिंदू धर्म में मां दुर्गा को शक्ति की देवी के रूप में स्वीकार किया गया है. प्रत्येक माह के शुक्ल पक्ष की अष्टमी तिथि को मासिक दुर्गा अष्टमी (Masik Durga Ashtami Vrat) मनाई जाती है. सावन मास की मासिक दुर्गा अष्टमी 5 अगस्त, शुक्रवार को पड़ रहा है. सावन मास की दुर्गा अष्टमी को बेहद खास माना जा रहा है. इस दिन मां दुर्गा की पूजा के अलावा भगवान शिव की पूजा भी विशेष फलदायी साबित होगी. मान्यता है कि मासिक दुर्गा अष्टमी के दिन मां दुर्गा की पूजा करने से उनका विशेष आशीर्वाद प्राप्त होता है. आइए जानते हैं सावन मास की मासिक दुर्गाष्टमी के बारे में.

यह भी पढ़ें: Sawan Masik Durgashtami 2022 Niyam: माँ दुर्गा की पूजा के दौरान इन नियमों की अनदेखी बना सकती है आपको माता रानी के क्रोध का भागी

मासिक दुर्गाष्टमी की पूजा में रखा जाता है दिशाओं का ध्यान
- मासिक दुर्गा अष्टमी व्रत (Masik Durga Ashtami Vrat) में दिशाओं का विशेष ध्यान रखा जाता है. ज्योतिष शास्त्र (Astrology) के अनुसार, मासिक दुर्गा अष्टमी की पूजा करते समय मां दुर्गा के निमित्त जलाए गए दीपक को आग्नेय कोण में रखना चाहिए. 

- साथ ही इस पूजा के दौरान पूजन करने वाले का मुख पूरब या उत्तर दिशा की ओर होना चाहिए. वहीं मां दुर्गा की पूजा करते वक्त पूजन की सामग्री दक्षिण-पूर्व दिशा में रखना चाहिेए. मान्यता है कि दिशा के अनुसार, मां दुर्गा की उपासना करने से जीवन में सुख, समृद्धि और खुशहाली रहती है.

- ज्योतिष शास्त्र के अनुसार श्रावण मास की दुर्गा अष्टमी के दिन घर के आग्नेय कोण में धूप-दीप जलाने से शुभ फलों की प्राप्ति होती है.

- साथ ही इस बात का ध्यान रखें कि मां दुर्गा की पूजा करते समय आपका मुंह पूर्व या उत्तर दिशा की तरफ होना चाहिए और पूजन सामग्री दक्षिण-पूर्व दिशा में रखना सही माना गया है. वहीं ज्योतिष अनुसार पूजा में गंगाजल, सिन्दूर, अक्षत और लाल पुष्प का उपयोग करने से मां दुर्गा प्रसन्न होती हैं.