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Tirupati Balaji Temple: यहां महिलाएं भी कराती हैं मुंडन, पूरी होती हैं मनोकामनाएं, जानें तिरूपति मंदिर की अनोखी मान्यता

Tirupati Balaji Temple: तिरुपति बालाजी मंदिर में बाल दान करने से भक्त पापों से मुक्ति और नई शुरुआत की कामना करते हैं. यहां बालों का धार्मिक समर्पण और भक्ति का प्रतीक होता है.

Updated on: 14 Apr 2024, 12:00 PM

नई दिल्ली:

Tirupati Balaji Temple:  तिरुपति बालाजी मंदिर, भगवान विष्णु के अवतार भगवान वेंकटेश्वर को समर्पित दुनिया का सबसे प्रसिद्ध मंदिरों में से एक है. यहां, श्रद्धालु भगवान को प्रसन्न करने के लिए कई तरह के अनुष्ठान करते हैं, जिनमें से एक है बाल दान. तिरुपति बालाजी मंदिर में बाल दान एक प्राचीन परंपरा है जो भगवान वेंकटेश्वर के प्रति समर्पण और भक्ति का प्रतीक है. यह माना जाता है कि बाल दान करने से पापों से मुक्ति मिलती है, नई शुरुआत होती है, और मनोकामनाएं पूरी होती हैं. यहां बाल दान करना एक प्रमुख पूजा प्रथा है जिसमें भक्त अपने बच्चों के बालों का धार्मिक संकेत मानकर मंदिर में बाल बांधते हैं. यह प्रथा विशेष रूप से बालकों के शिक्षा आरंभ, विद्या प्राप्ति, धर्म संस्कृति की प्रतिष्ठा और संतान की लाभकारी सेवा के लिए महत्वपूर्ण मानी जाती है. यह परंपरा कई विशेष पूजा अवसरों जैसे नवरात्रि, अक्षय तृतीया, कृष्ण जन्माष्टमी आदि पर विशेष रूप से महत्वपूर्ण होती है. बाल दान करने के माध्यम से भक्त अपने बच्चों के भविष्य के लिए आशीर्वाद और संतान सुख की कामना करते हैं और भगवान की कृपा को प्राप्त करने का प्रयास करते हैं.

क्यों करते हैं बाल दान?

पापों से मुक्ति: हिंदू धर्म में, बालों को अहंकार और नकारात्मक ऊर्जा का प्रतीक माना जाता है. बाल दान करके, भक्त इन नकारात्मकताओं को त्यागते हैं और आध्यात्मिक शुद्धिकरण प्राप्त करते हैं. यह माना जाता है कि बाल दान करने से व्यक्ति के पाप धुल जाते हैं और उसे मोक्ष की प्राप्ति होती है.

नई शुरुआत: बाल दान एक पुराने जीवन को छोड़कर एक नए जीवन की शुरुआत का प्रतीक है. यह भक्तों को अपनी गलतियों से सीखने और भविष्य के लिए बेहतर विकल्प बनाने का मौका देता है. बाल दान को एक नई शुरुआत का प्रतीक माना जाता है.

समर्पण: बाल दान भगवान वेंकटेश्वर के प्रति भक्तों की अटूट श्रद्धा और समर्पण का प्रतीक है. यह दर्शाता है कि भक्त भगवान को अपना सर्वश्रेष्ठ अर्पण करने के लिए तैयार हैं. अपने बाल दान करके, श्रद्धालु भगवान वेंकटेश्वर के प्रति अपनी आस्था और समर्पण व्यक्त करते हैं.

इच्छा पूर्ति: कुछ लोगों का मानना ​​है कि बाल दान करने से भगवान वेंकटेश्वर प्रसन्न होते हैं और भक्तों की इच्छाएं पूरी करते हैं. कुछ लोगों का मानना ​​है कि बाल दान करने से भगवान उनकी इच्छाओं को पूरा करते हैं.

बाल दान कैसे करें

सबसे पहले, आपको तिरुपति बालाजी मंदिर में प्रवेश करना होगा. बाल दान के लिए आपको निर्धारित शुल्क का भुगतान करके टिकट खरीदना होगा. मंदिर परिसर में निर्दिष्ट स्थान पर जाकर आपको अपना सिर मुंडवाना होगा. मुंडन के बाद, आपके बालों को भगवान वेंकटेश्वर को दान कर दिया जाएगा. अंत में, आपको मंदिर से प्रसाद प्राप्त होगा. 

नियम और विनियम

बाल दान केवल हिंदू धर्म के अनुयायियों द्वारा ही किया जा सकता है. महिलाओं को अपना पूरा सिर मुंडवाना होता है. पुरुषों को केवल अपने सिर के ऊपरी हिस्से के बाल मुंडवाने होते हैं. दान किए गए बाल साफ और धुले हुए होने चाहिए. दान किए गए बालों का उपयोग मंदिर में मूर्तियों को सजाने या विग बनाने के लिए किया जाता है. 

बाल दान से जुड़ी कुछ रोचक बातें

तिरुपति बालाजी मंदिर में हर दिन हजारों लोग बाल दान करते हैं. दान किए गए बालों से प्राप्त धन का उपयोग मंदिर के रखरखाव और धार्मिक कार्यों के लिए किया जाता है. बाल दान करने के लिए मंदिर में कई स्वयंसेवक तैनात हैं जो भक्तों की सहायता करते हैं. तिरुपति बालाजी मंदिर में बाल दान करने की परंपरा सदियों पुरानी है और यह भक्तों के बीच अत्यंत लोकप्रिय है.

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(Disclaimer: यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं. न्यूज नेशन इस बारे में किसी तरह की कोई पुष्टि नहीं करता है. इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है.)