(फोटो- इसरो)
भारतीय स्पेस एजेंसी इसरो (Indian Space Research Organisation) ने चंद्रयान-2 (Chandrayaan-2) की सफल लॉन्चिंग के साथ ही नया इतिहास रच दिया है.
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भारतीय अंतरिक्ष मिशन के लिए महत्वपूर्ण माना जा रहा चंद्रयान-2 (Chandrayaan2 ) सोमवार दोपहर 2.43 बजे श्रीहरिकोटा (आंध्रप्रदेश) के सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र से लॉन्च हुआ.
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चंद्रयान 2 की सफल लॉन्चिंग पर इसरो के साथ-साथ देशभर में जश्न का माहौल है.
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इस मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी इसरो और भारतीयों को बधाई संदेश दिया.
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चंद्रयान-2 की कुल लागत 603 करोड़ रुपये है. अलग-अलग चरणों में सफर पूरा करते हुए यान सात सितंबर को चांद के दक्षिणी ध्रुव की निर्धारित जगह पर उतरेगा.
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चंद्रयान-2.0 की लॉन्चिंग की सफलता से खुश इसरो चीफ थोड़े से भावुक होते हुए सभी टीमों की प्रशंसा की और कहा, 'आपने जिस तरह से अपना घर परिवार छोड़कर रात दिन एक कर दिया, उसके लिए मैं आपको दिल से सलाम करता हूं.'
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भारत के रॉकेट जियोसिंक्रोनिक सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल- मार्क तृतीय (जीएसएलवी -एमके तृतीय) का प्रक्षेपण देखने के लिए 7,500 लोगों ने इसरो (ISRO)में ऑनलाइन पंजीकरण कराया था.
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लॉन्च देखने के लिए विभिन्न स्थानों के लोगों ने पंजीकरण कराया था.
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भारत के चंद्रयान-2 को ले जाने वाले जियोसिंक्रोनाइज सैटेलाइट लॉन्च व्हीकल - मार्क तृतीय (जीएसएलवी - एमके तृतीय) का यहां स्थित प्रक्षेपण स्थल से सोमवार को नियत समय अपराह्न् 2.43 बजे सफल प्रक्षेपण किया गया, जिसके बाद चंद्रयान-2 अपनी कक्षा में स्थापित हो गया.
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चंद्रयान-2 के साथ जीएसएलवी-एमके तृतीय को पहले 15 जुलाई को तड़के 2.51 बजे प्रक्षेपित किया जाना था. हालांकि प्रक्षेपण से एक घंटा पहले एक तकनीकी खामी के पाए जाने के बाद प्रक्षेपण स्थगित कर दिया गया था.