कनाडा के उद्यमी गेराल्ड कॉटन की भारत के एक अस्पताल में मौत हो गई, जिससे उनके हजारों निवेशक उलझन में हैं, क्योंकि उनके जाने से निवेशकों के 14.5 करोड़ डॉलर की रकम का पासवर्ड भी चला गया है. हालांकि अपनी मौत से कुछ ही दिन पहले उन्होंने वसीयत की थी और सारी संपत्ति अपनी पत्नी के नाम कर दिया था. न्यूजबीटीसी डॉट कॉम की बुधवार देर रात की रिपोर्ट के मुताबिक कॉटन ने अपनी सारी संपत्ति पत्नी जेनिफर राबर्ट्सन के नाम की है.
रिपोर्ट में कहा गया, "उनकी पत्नी को वसीयत में संपत्ति, महंगे वाहनों के साथ ही चिहुहुआस नस्ल के दो पालतू कुत्ते भी मिले हैं. लेकिन उनके पास क्वाड्रिगा नाम की इस कंपनी के कोल्ड स्टोरेज समाधान से जुड़ी कोई जानकारी नहीं है."
राबर्ट्सन का कहना है कि कॉटन अपने एनक्रिप्टेड लैपटॉप से करेंसी एक्सचेंज चलाते थे.
उन्होंने कहा, "मुझे 'पासवर्ड' या 'रिकवरी की' की जानकारी नहीं है. बार-बार और ध्यान लगाकर भी खोजने के बावजूद मुझे इस संबंध में कहीं कुछ लिखा हुआ नहीं मिला."
कॉटन कनाडा की सबसे बड़ी क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज क्वाड्रिगा के मालिक थे.
कॉटन की जयपुर के एक अस्पताल में दिसंबर में मौत हो गई, जिसके बाद क्वाड्रिगा संकट में फंस गई है. क्योंकि पासवर्ड नहीं मिलने के कारण कंपनी के एक लाख से ज्यादा यूजर्स की रकम फंस गई है. बिटकॉयन और अन्य डिजिटल संपत्तियों के रूप में रखे हुए 14.5 करोड़ डॉलर की रकम तक पहुंच केवल कॉटन थी.
उनके मरने के बाद क्रिप्टोकरेंसी को अनलॉक करने का पासवर्ड चला गया है, क्योंकि उनका लैपटॉप और स्मार्टफोन बेहद उच्च स्तर के एनक्रिप्सन से सुरक्षित है.
सीएनएन की रिपोर्ट में कहा गया, "क्वाड्रिगा की डिजिटल करेंसिज को ऑफलाइन रखा जाता था, जिसे 'कोल्ड वॉलेट' कहते हैं, ताकि हैकर्स से वह सुरक्षित रहे और वॉलेट का पासवर्ड केवल कॉटन के पास था."
कॉटन की भारत की यात्रा के दौरान क्रोहन नाम की बीमारी से 30 साल की उम्र में मौत हो गई.
कंपनी ने पासवर्ड अनलॉक करने के लिए विशेषज्ञों की सेवाएं ली है, लेकिन अभी तक कुछ खास हासिल नहीं किया जा सका है.
Source : News Nation Bureau