मध्य प्रदेश के इंदौर में एक 23 वर्षीय एमबीबीएस छात्र को साइबर धोखाधड़ी के आरोप में गिरफ्तार किया गया है. इस मामले में पैसे को चीनी युवाओं के एक गिरोह को क्रिप्टोकरेंसी में बदले के लिए 8 लाख ट्रांसफर करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था. पुलिस के अनुसार, विक्रम विश्नोई के रूप में पहचाने गए आरोपी को शहर के एक सॉफ्टवेयर इंजीनियर को "डिजिटल गिरफ्तारी" के तहत रखकर 1.35 लाख रुपये की धोखाधड़ी के मामले से जुड़े सबूतों के बाद गिरफ्तार किया गया था. पुलिस के अनुसार, राजस्थान के जोधपुर का रहने वाला बिश्नोई महाराष्ट्र के अलीबाग में सरकारी मेडिकल कॉलेज में एमबीबीएस का तीसरे वर्ष का छात्र है.
पांच चीनी युवाओं से जुड़ा हुआ था
पुलिस के अनुसार, उसने साइबर धोखाधड़ी को लेकर कमीशन के आधार पर एक गिरोह को बैंक खोते उपलब्ध कराए. वह टेलीग्राम मैसेजिंग ऐप पर एक ग्रुप के माध्यम से पांच चीनी युवाओं से जुड़ा हुआ था. जांच में पाया गया कि बिश्नोई ने भारतीय बैंक खातों में जमा पैसे को साइबर धोखाधड़ी से क्रिप्टोकरेंसी में बदल दिया. इसे चीनी गिरोह को दिया है. इस मामले की अभी भी गहन जांच हो रही है.
बिश्नोई ने धोखाधड़ी के पैसे को बदले के लिए क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज बिनेंस का उपयोग किया. इसे क्यूआर कोड के माध्यम से "टीएलएक्स" उपनाम से जाने वाले चीनी युवक के क्रिप्टो वॉलेट में भेजा. बिश्नोई ने तक करीब 8 लाख रुपये को क्रिप्टोकरेंसी में बदल दिया है. इसे 'टीएलएक्स' के चीनी क्रिप्टो वॉलेट में डाला गया है.