तो इसलिए राहुल गांधी को प्रेसिडेंट हाउस में आयोजित डिनर में नहीं बुलाया गया?

केरल कांग्रेस द्वारा राष्ट्रपति पुतिन की भारत यात्रा पर किया गया विवादित पोस्ट कूटनीतिक मर्यादाओं पर बहस का कारण बना. पोस्ट में असम्मानजनक भाषा के उपयोग ने राजनीतिक हलकों में तीखी प्रतिक्रियाएं उत्पन्न कीं. वहीं, ये भी एक सवाल उठ रहा है कि आखिर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और कांग्रेस नेता राहुल गांधी प्रेसिडेंट हाउस में आयोजित डिनर में क्यों नहीं बुलाया गया.

केरल कांग्रेस द्वारा राष्ट्रपति पुतिन की भारत यात्रा पर किया गया विवादित पोस्ट कूटनीतिक मर्यादाओं पर बहस का कारण बना. पोस्ट में असम्मानजनक भाषा के उपयोग ने राजनीतिक हलकों में तीखी प्रतिक्रियाएं उत्पन्न कीं. वहीं, ये भी एक सवाल उठ रहा है कि आखिर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और कांग्रेस नेता राहुल गांधी प्रेसिडेंट हाउस में आयोजित डिनर में क्यों नहीं बुलाया गया.

author-image
Ravi Prashant
New Update
president house dinner

प्रेसिडेंट हाउस डिनर कंट्रोवर्सी Photograph: (X/ani)

रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की भारत यात्रा के दौरान केरल कांग्रेस द्वारा सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर किया गया एक पोस्ट राजनीतिक और कूटनीतिक हलकों में तीखी चर्चा का विषय बन गया है. पोस्ट में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के समर्थकों पर टिप्पणी करते हुए पुतिन को “नया PawPaw” बताया गया. इस कथन को कई विशेषज्ञ अंतरराष्ट्रीय कूटनीति के स्थापित मानकों के विपरीत और एक शीर्ष विदेशी अतिथि के प्रति असम्मानजनक बता रहे हैं.

Advertisment

सामान्यतः किसी भी देश की राजनीतिक पार्टियों से अपेक्षा की जाती है कि वे विदेश नीति और विदेशी अतिथियों को लेकर मर्यादा बनाए रखें, चाहे आंतरिक राजनीतिक मतभेद कितने भी प्रखर क्यों न हों.

केरल कांग्रेस के इस पोस्ट को पार्टी के भीतर भी असहजता से देखा जा रहा है, क्योंकि यह ऐसे समय आया है जब भारत रूस संबंधों को रक्षा, ऊर्जा और व्यापार जैसे क्षेत्रों में और गहरा करने की दिशा में काम कर रहा है. पुतिन की यात्रा को दोनों देशों के लिए रणनीतिक रूप से महत्वपूर्ण माना जा रहा है, खासकर ऐसे दौर में जब वैश्विक भू-राजनीतिक समीकरण लगातार बदल रहे हैं.

निमंत्रण सूची पर कांग्रेस में नाराजगी

विवाद का एक दूसरा पहलू वह है, जिसने कांग्रेस के भीतर नए राजनीतिक प्रश्न खड़े कर दिए हैं. पार्टी के शीर्ष नेताओं लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी और राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे को राष्ट्रपति भवन में पुतिन के सम्मान में आयोजित भोज के लिए आमंत्रित नहीं किया गया. इस पर कांग्रेस नेता पवन खेड़ा ने तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि उन्हें यह निर्णय काफी आश्चर्यजनक लगा. उन्होंने व्यंग्य करते हुए कहा कि “जिन्होंने निमंत्रण भेजा, उन्होंने भी कमाल किया और जिन्होंने स्वीकार किया, वे भी कमाल कर रहे हैं.”

हालांकि इस संदर्भ में सरकारी सूत्रों ने स्पष्ट किया है कि किसी भी विदेशी नेता की निजी बैठकें और भोज की अतिथि सूची उनके अपने प्रतिनिधिमंडल द्वारा तय की जाती है, न कि भारत सरकार द्वारा. इसके बावजूद कांग्रेस की असंतोषपूर्ण प्रतिक्रिया राजनीतिक आख्यानों को नया स्वर दे रही है.

शशि थरूर को मिला निमंत्रण

दिलचस्प रूप से कांग्रेस सांसद शशि थरूर, जो केरल के तिरुवनंतपुरम से प्रतिनिधित्व करते हैं, को राष्ट्रपति पुतिन के सम्मान में आयोजित भोज का निमंत्रण मिला है. थरूर ने इसकी पुष्टि करते हुए कहा कि उन्हें निश्चित रूप से इस कार्यक्रम में जाना चाहिए. यह स्थिति पार्टी में और अधिक असहजता पैदा कर रही है, क्योंकि शीर्ष नेतृत्व को निमंत्रण नहीं भेजा गया, जबकि एक वरिष्ठ नेता को आमंत्रित किया गया.

भारत रूस संबंधों की पृष्ठभूमि

पुतिन की यात्रा को दोनों देशों के संबंधों को सुदृढ़ करने के संदर्भ में महत्वपूर्ण माना जा रहा है. पुतिन ने प्रधानमंत्री मोदी की प्रशंसा करते हुए उन्हें ऐसा नेता बताया है “जो दबाव में नहीं झुकते”. रक्षा सहयोग, ऊर्जा साझेदारी और अंतरिक्ष क्षेत्र में सहयोग लंबे समय से भारत रूस संबंधों की मजबूत नींव रहे हैं. इसलिए केरल कांग्रेस का यह विवादित बयान ऐसे समय आया है जब दोनों देशों के बीच उच्चस्तरीय संवाद जारी है.

india russia relations India-Russia Relation
Advertisment