जातिगत जनगणना पर अब आरपार की सियासत शुरू हो गई है. OBC की गणना के लिए जाति जनगणना की मांग उठ रही है. यूपी में भी कई दलों ने मांग उठाई है. केंद्र में सहयोगी अपना दल ने भी मांग की है. जातिगत जनगणना के पक्षवालों का कहना है कि आंकड़ा ही नहीं होगा तो योजनाएं कैसे बनाएंगे, जबकि विपक्ष ने कहा कि जातिगत जनगणना से राजनीतिक और सामाजिक अस्थिरता का खतरा बढ़ेगा. जातिगत जनगणना की चुनौतियां- पिछड़ा-अतिपिछड़ा पर राजनीतिक उफान है. जातिगत जनगणना से भेदभाव का खतरा है. जाति-विद्वेष की भावनाएं बढ़ सकती हैं. जनगणना डेटा में ज्यादा वक्त लगेगा. देश में 90 सालों से जातिगत जनगणना नहीं हुई है. आबादी कंट्रोल के अभियान को झटका लग सकता है. जातीय जनगणना को लेकर सियासत क्यों हुई तेज़? दीपक चौरसिया के साथ देखिये #DeshKiBahas... यहां पढ़ें मुख्य अंश.
- इस देश में कौन सी पार्टियां हैं, जो जाति को आधार मानकर राजनीति नहीं करती है : आशुतोष, वरिष्ठ पत्रकार
- चुनाव में टिकट भी जाति के आधार पर बांटा जाता है : आशुतोष, वरिष्ठ पत्रकार
- हिंदू की परिकल्पना जाति के बिना नहीं की जा सकती है : आशुतोष, वरिष्ठ पत्रकार
- सम्मान-अपमान जाति के आधार पर होता है : आशुतोष, वरिष्ठ पत्रकार
- कई प्रदेशों और दलों ने जातिगत जनगणना की मांग की है : राहुल देव, वरिष्ठ पत्रकार
- 90 साल से जातियों की जनगणना नहीं की गई है : राहुल देव, वरिष्ठ पत्रकार
- देश को जाति विहीन बनाने का सपना है : राहुल देव, वरिष्ठ पत्रकार
- योजनाओं को विस्तार भी जाति के आधार हो रहा है : राहुल देव, वरिष्ठ पत्रकार
- योजनाओं को लाभ सही लोगों तक पहुंचाना जरूरी : राहुल देव, वरिष्ठ पत्रकार
- 2014 से मोदी सरकार ने पिछले वर्ग के लिए बहुत काम किया है : प्रेम रंजन पटेल, प्रवक्ता, BJP
- 2011 में जनगणना हुई और 2014 में मोदी सरकार आई तो इस 4 साल में कांग्रेस सरकार ने जनगणना क्यों नहीं प्रकाशित की : प्रेम रंजन पटेल, प्रवक्ता, BJP
- कांग्रेस ने पिछड़े वर्गों को इस्तेमाल सिर्फ कुर्सी के लिए किया है : प्रेम रंजन पटेल, प्रवक्ता, BJP
- मोदी सरकार ने अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के लिए काम किया है : प्रेम रंजन पटेल, प्रवक्ता, BJP
- पिछले वर्ग के लिए काम कर रही केंद्र सरकार : प्रेम रंजन पटेल, प्रवक्ता, BJP
- अगर जातिगत जनगणना होती तो मुझे पता चलेगा कि सामाजिक और शैक्षणिक आधार पर कौन पिछड़ा हुआ है : डॉ. सुनील सिंह, नेता, JDU
- गरीबी और जाति एक साथ चल रहा है : डॉ. सुनील सिंह, नेता, JDU
- बहुत सी जाति ऊपर आ गई है तो बहुत सी जाति नीचे चली आ गई है : डॉ. सुनील सिंह, नेता, JDU
- गरीबी भी कहीं न कहीं जाति से लिंक है : डॉ. सुनील सिंह, नेता, JDU
- 2011 में जातिगत जनगणना हुई थी, लेकिन कांग्रेस ने पब्लिश नहीं की : डॉ. सुनील सिंह, नेता, JDU
- मोदी सरकार सभी जातियों को साथ लेकर चलती है : डॉ. सुनील सिंह, नेता, JDU
- मुझे पूरी उम्मीद है कि प्रधानमंत्री जातिगत जनगणना करवाएंगे : डॉ. सुनील सिंह, नेता, JDU
- जातिपाति तभी मिटेगी, जब हम पिछले वर्ग को मुख्यधारा में लाएंगे : डॉ. सुनील सिंह, नेता, JDU
- जिसकी जिनती संख्या है उसको उतनी हिस्सेदारी मिलनी चाहिए : तहसीन पूनावाला, राजनीतिक विश्लेषक
- आरएसएस का मुखिया दलित कब बनेगा? : तहसीन पूनावाला, राजनीतिक विश्लेषक
- हर जाति को पता चल जाएगा कि उनकी कितनी संख्या है : मृत्युंजय तिवारी, प्रवक्ता, RJD
- योजनाओं को लाभ भी सही लोगों मिलेगा : मृत्युंजय तिवारी, प्रवक्ता, RJD
- बीजेपी में भी एक धड़ा है जो जातिगत जनगणना के पक्ष में है : मृत्युंजय तिवारी, प्रवक्ता, RJD
- पिछले रह गए जाति को मुख्यधारा में लाने के लिए जातिगत जनगणना जरूरी है : मृत्युंजय तिवारी, प्रवक्ता, RJD
- जातिगत जनगणना का लाभ सभी लोगों को मिलेगा : मृत्युंजय तिवारी, प्रवक्ता, RJD
- जब पेड़-पौधे की गणना हो रही है तब जातिगत जनगणना भी होनी चाहिए : मृत्युंजय तिवारी, प्रवक्ता, RJD
- जाति के आधार पर शादी-विवाह अन्य कार्यक्रम हो रहे हैं : एंजेलिना एलेक्जेंडर, दिल्ली, दर्शक
- जातिगत जनगणना होना चाहिए : एंजेलिना एलेक्जेंडर, दिल्ली, दर्शक
Source : News Nation Bureau