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BJP New President( Photo Credit : File Pic)
BJP New President: तीसरी बार नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में एनडीए की सरकार बनने, शपथ ग्रहण और मंत्रियों का विभाग बंटवारे के बाद अब बीजेपी के सामने नई चुनौती अध्यक्ष चुनने की है. सवाल यह है कि वर्तमान अध्यक्ष जेपी नड्डा के मंत्री बनने के बाद नया अध्यक्ष कौन होगा? केंद्र में नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में एनडीए की सरकार बनने और बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के मंत्री बनने के बाद बीजेपी के नये अध्यक्ष को लेकर चर्चा शुरू हो गई है. मोदी के नेतृत्व में सरकार बनने में एक सामान्य बात ये रही कि 2019 में सरकार बनने के बाद उस वक़्त के अध्यक्ष को मंत्री बना दिया गया और 2024 में भी यही हुआ. फिर से अध्यक्ष को मंत्रिमंडल में मोदी ने शामिल कर लिया. इस बार भी पुरानी नीति के अनुसार नये अध्यक्ष को चार्ज दिया जाएगा. कौन होगा अध्यक्ष इसको लेकर सस्पेंस की स्थिति बनी हुई है .
गौर करने वाली बात ये भी है कि इन चुनावों में पार्टी ने उम्मीद के मुताबिक प्रदर्शन नहीं किया है. जेपी नड्डा का पार्टी अध्यक्ष के रूप में कार्यकाल इस साल जनवरी में ही खत्म हो चुका था लेकिन लोकसभा चुनावों के मद्देनजर उन्हें 6 महीने का विस्तार दिया गया है. अब उनका कार्यकाल जून में ही समाप्त हो जाएगा. तो ये देखना होगा कि ऐसे चुनौतीपूर्ण समय में पार्टी की कमान किसके हाथों में सौंपी जाती है. लेकिन अभी अध्यक्ष चुनने की प्रक्रिया में 6 महीने लग सकता है लिहाज़ा अभी कार्यकारी अध्यक्ष की नियुक्ति पहले की जाएगी. संगठन में अध्यक्ष पद को लेकर सबसे अधिक चर्चा पार्टी के महासचिव विनोद तावड़े और सुनील बंसल को लेकर है. अध्यक्ष पद के लिए सबसे मजबूत दावेदार इन्हीं दोनों को माना जा रहा है. विनोद तावड़े महाराष्ट्र से आते हैं. उन्हें संगठन में लाया गया था वो बिहार के प्रभारी भी हैं और कई भूमिकाओं में काम करते रहे हैं.
वहीं सुनील बंसल एक जमाने में यूपी में बीजेपी के ताकतवर प्रभारी थे. तब कहा जाता था कि यूपी में टिकट बंटवारे से लेकर पर्दे के पीछे तमाम आपरेशनों में उनका हाथ होता था. उन्हें नरेंद्र मोदी और अमित शाह खासतौर पर यूपी में लेकर आए थे. इसके बाद उन्हें बंगाल और अन्य राज्यों की जिम्मेदारी सौंपी गई. वह जहां संगठन के कामों में माहिर हैं बल्कि संगठन को बखूबी संभालने का अनुभव भी उन्हें है. इसके अलावा सूत्र बताते हैं कि ओम माथुर भी एक अच्छे दावेदार हैं लेकिन उनकी दबंग कार्यपद्धति इसके आड़े आ सकती है . इसके अलावा महाराष्ट्र के उपमुख्यमन्त्री देवेंद्र फडनवीस का नाम भी चर्चा में है .
ख़ास बात है कि अभी तक केंद्रीय संगठन में काम करने वाले नेताओं को ही प्रमोट करके अध्यक्ष बनाया गया है. लेकिन लोकसभा चुनाव का परिणाम उम्मीद के मुताबिक़ नहीं आया है , लिहाज़ा ये कहा जा रहा है कि क्षेत्रीय सामाजिक और जातीय समीकरण को साधते हुए, किस नये व्यक्ति को अध्यक्ष बनाया जा सकता है .
Source : News Nation Bureau