कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) ने केंद्रीय वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल को बताया कि अमेरिकी सांसदों ने 2016 से अमेजन और फ्लिपकार्ट जैसी विदेशी वित्त पोषित कंपनियों द्वारा देश की व्यापार संप्रभुता के खिलाफ सुनियोजित साजिश करने की बात कहते हुए इसके विरुद्ध बिल लाने की घोषणा की है। जबकि भारत में न केवल सरकार, बल्कि सभी राजनीतिक दल, जिम्मेदार सरकारी एजेंसियां चुप हैं। इससे देश के व्यापारियों में बहुत गुस्सा और आक्रोश है।
कैट ने कहा कि यह रवैया इस संभावना को पर्याप्त ताकत देता है कि अमेजन और अन्य विदेशी कंपनियों को घरेलू व्यापारिक समुदाय की घोर उपेक्षा की कीमत पर कानून का उल्लंघन करने की अनुमति देने के लिए सरकारी प्रशासन के भीतर कुछ लोगों का संरक्षण प्राप्त है।
संगठन ने भारत में अमेजन और अन्य विदेशी वित्त पोषित कंपनियों द्वारा जारी प्रभुत्व के दुरुपयोग और अन्य कदाचार के विरोध में देश के सभी राज्यों में 15 नवंबर से रथयात्रा निकालने की घोषणा की है।
कैट ने कहा कि हाल ही में मीडिया में प्रकाशित एक समाचार में सबूतों का हवाला देते हुए, यह स्पष्ट रूप से कहा गया था कि अमेजन भारतीय छोटे निर्माताओं के उत्पादों की नकल करती है और कॉपी किए गए उत्पादों को बहुत कम कीमतों पर खोजने और बेचने में धांधली करती है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आत्मनिभर भारत एजेंडे का भी उल्लंघन करती है।
कैट ने पूछा, लेकिन यह बहुत आश्चर्य की बात है कि आज तक किसी भी सरकारी विभाग या मंत्रालय ने इस पर कोई संज्ञान नहीं लिया है और शिकायत के बावजूद कोई कार्रवाई नहीं की गई है, इससे क्या समझा जाए?
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Source : IANS