नक्सलवाद पर बोले राज बब्बर, गोलियों से नहीं आपसी बातचीत से निकलेगा मसले का समाधान

छत्तीसगढ़ में नक्सलवाद की समस्या का समाधान गोलियों से नहीं बल्कि बातचीत से निकाला जा सकता है. उन्होंने लोगों के अधिकारों के लिए यह आंदोलन शुरु किया है. हमें उनकी शिकायतों को सुनना चाहिए.

छत्तीसगढ़ में नक्सलवाद की समस्या का समाधान गोलियों से नहीं बल्कि बातचीत से निकाला जा सकता है. उन्होंने लोगों के अधिकारों के लिए यह आंदोलन शुरु किया है. हमें उनकी शिकायतों को सुनना चाहिए.

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नक्सलवाद पर बोले राज बब्बर, गोलियों से नहीं आपसी बातचीत से निकलेगा मसले का समाधान

यूपी कांग्रेस अध्यक्ष राज बब्बर (फाइल फोटो)

यूपी कांग्रेस अध्यक्ष राज बब्बर ने नक्सलवाद की समस्या से निपटने के लिए बातचीत का रास्ता सुझाया है. उनका कहना है कि गोलियों से कोई समधान नहीं निकलेगा. रायपुर में एक कार्यक्रम के दौरान उन्होंने कहा कि हमें इस मसले पर नक्सलियों से बात करनी चाहिए. राज बब्बर ने कहा, 'छत्तीसगढ़ में नक्सलवाद की समस्या का समाधान गोलियों से नहीं बल्कि बातचीत से निकाला जा सकता है. उन्होंने लोगों के अधिकारों के लिए यह आंदोलन शुरु किया है. हमें उनकी शिकायतों को सुनना चाहिए. जिन लोगों को मुख्यधारा से भटकाने की कोशिश की गई है, उन्हें वापस लाया जाना चाहिए.' 

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प्रेस कॉन्फेंस के दौरान ये पूछे जाने पर कि, क्या वह नक्सलियों को क्रांतिकारी कह रह हैं, उन्होंने स्पष्टीकरण देते हुए कहा कि 'मैं कह रहा हूं कि हमें उन लोगों (नक्सलियों) से बात करनी चाहिए जो आंतक का रास्ता चुन कर खुद को क्रांतिकारी कहते हैं.'

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बीजेपी का कहना है कि कांग्रेस ने नक्सलियों का समर्थन करती है. यह पूछे जाने पर वह कहते हैं कि 'कांग्रेस ने राज्य में नेतृत्व खो दिया है (2013 में हुए नक्सली हमले के दौरान). बीजेपी लगातार कांग्रेस को इन हमलों के लिए आरोपी बताती रहती है, यह दिखाता है कि वह मानसिक रूप से बीमार हो चुकी है. एक पार्टी उस हमले या लोगों का समर्थन कैसे कर सकती है, जिसके वरिष्ठ नेता उस नक्सली हमले में मारे गए हो.'

गौरतलब है कि मंगलवार को ही चुनाव से ठीक पहले दंतेवाड़ा एक बड़ा नक्सली हमला हुआ है. इस हमले में 2 जवान शहीद हो गए और दूरदर्शन के 1 कैमरापर्सन की भी मौत हो गई. ऐसे में छत्तीसगढ़ प्रशासन और पुलिस पर बड़ी जिम्मेदारी होगी कि वह राज्य में शांतिपूर्वक चुनावों को संपन्न करें. ऐसे में एक बार फिर नक्सवाद के मुद्दे पर चर्चा जोर पकड़ रही है कि आखिर छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित इलाकों में शांति कैसे बहाल की जाए.

बता दें कि छत्तीसगढ़ में दो चरणों में चुनाव कराए जाएंगे. राज्य में पहले चरण में 18 सीटों पर 12 नवंबर को वोटिंग होगी, इसके बाद दूसरे चरण में 72 विधानसभा क्षेत्रों में 20 नवंबर को चुनाव होंगे. मतदान की गिनती 11 दिसंबर को होगी. 

Source : News Nation Bureau

UP congress chief Raj Babbar in Raipur says problem of naxals can only be solved by talks
      
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