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मेक इन इंडिया के मुरीद हुए स्वीडिश पीएम लवेन, भारत के साथ बढ़ाएंगे रक्षा साझेदारी

भारत और स्वीडेन ने द्विपक्षीय सम्मेलन के बाद संयुक्त कार्रवाई योजना, नवाचार साझेदारी पर हस्ताक्षर किए।

Updated on: 17 Apr 2018, 11:49 PM

स्टॉकहोम:

भारत और स्वीडेन ने मंगलवार को यहां प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और स्वीडेन के प्रधानमंत्री स्टीफेन लोफवेन के द्विपक्षीय सम्मेलन के बाद कई अहम समझौते पर हस्ताक्षर किए।

लोफवेन के साथ बैठक के बाद, मोदी ने संयुक्त संवाददाता सम्मेलन में कहा, 'स्वीडेन शुरुआत से ही मेक इन इंडिया कार्यक्रम में मजबूत योगदानकर्ता रहा है और याद दिलाते हुए कहा कि स्वीडेन के प्रधानमंत्री वर्ष 2016 में मुंबई में हुए मेक इन इंडिया सम्मेलन में खुद बड़े व्यापारिक प्रतिनिधिमंडल के साथ यहां आए थे।'

मोदी ने कहा,'हमारी बातचीत आज मुख्य रूप से इस बात पर आधारित थी कि हम कैसे भारत के विकास कार्यक्रमों के अवसर के जरिए स्वीडेन और भारत के बीच एक संतुलित साझेदारी (विन-विन पार्टनरशिप) विकसित करे।'

नवाचार, निवेश, स्टार्ट-अप्स, विनिर्माण को दोनों देशों के बीच सहयोग का मुख्य क्षेत्र बतलाते हुए मोदी ने कहा कि बातचीत के दौरान नवीकरणीय ऊर्जा, शहरी यातायात, कचरा प्रबंधन और भारतीय लोगों के जिंदगी को बेहतर बनाने पर भी ध्यान दिया गया।

मोदी ने कहा, 'रक्षा और सुरक्षा हमारे द्विपक्षीय संबंध का महत्वपूर्ण स्तंभ है।'

उन्होंने कहा, 'स्वीडन रक्षा के क्षेत्र में भारत का लंबे समय से सहयोगी रहा है। मुझे विश्वास है कि इस क्षेत्र में भविष्य में नए अवसर पैदा होंगे, खासकर रक्षा उत्पादन के क्षेत्र में।'

मोदी के अनुसार, दोनों पक्षों ने सुरक्षा, खासकर साइबर सुरक्षा सहयोग को मजबूत करने पर प्रतिबद्धता जताई। 

उन्होंने कहा, 'एक और चीज जिसमें हम सहमत हुए हैं कि हमारे संबंध की महत्ता क्षेत्रीय और वैश्विक स्तर पर परिलक्षित होनी चाहिए। हम अंतर्राष्ट्रीय मंच पर करीब से सहयोग कर रहे हैं और यह आगे भी जारी रहेगा।'

मोदी ने यह भी कहा कि द्विपक्षीय सम्मेलन के दौरान यूरोप और एशिया में हुए विकास पर भी चर्चा हुई।

वहीं, स्वीडन के प्रधानमंत्री लोफवेन ने कहा कि वह उम्मीद करते हैं कि स्वीडन और भारत एक बेहतरीन जोड़ी (परफेक्ट मैच) बनाएंगे।

उन्होंने कहा, 'भारत अभूतपूर्व आर्थिक परिवर्तन के दौर से गुजर रहा है और स्वीडेन के पास इस संबंध में कई नए उपाय हैं।'

लोफवेन ने कहा, 'मैं इस बात की घोषणा कर काफी खुश हूं कि स्वीडेन सरकार स्मार्ट शहर और सस्टेनिबिलिटी के क्षेत्र 5.9 करोड़ डॉलर मुहैया कराकर भारत के साथ नवाचार सहयोग करेगी।'

इससे पहले दिन में, मोदी ने स्वीडेन के राजा किंग कार्ल 16वें गुस्ताफ से रॉयल पैलेस में मुलाकात की और दोनों नेताओं ने द्विपक्षीय सहयोग मजबूत करने पर अपने विचार साझा किए। 

इसके अलावा मोदी और लोफवेन स्वीडन के मुख्य कार्यकारी अधिकारियों (सीईओ) के साथ एक गोलमेज बैठक में शिरकत करेंगे।

मोदी यूरोप के तीन देशों के अपने दौरे के पहले चरण में सोमवार को स्वीडेन पहुंचे। यहां से वह ब्रिटेन और जर्मनी जाएंगे।

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भारत और स्वीडेन मंगलवार को पहले इंडिया-नोरडिक शिखर सम्मेलन की सह अध्यक्षता करेंगे। इसमें मोदी और लोफवेन के अलावा चार नोरडिक देश डेनमार्क, फिनलैंड, आइसलैंड और नॉर्वे के प्रधानमंत्री भी मौजूद रहेंगे। 

मोदी शिखर सम्मेलन से इतर चार अन्य नोरडिक देशों के नेताओं के साथ अलग-अलग द्विपक्षीय बैठक करेंगे।

मोदी 30 वर्षो के अंतराल के बाद स्वीडेन की यात्रा करने वाले पहले भारतीय प्रधानमंत्री हैं। इससे पहले राजीव गांधी ने 1988 में यहां की यात्रा की थी।

मोदी स्वीडेन से ब्रिटेन के लिए रवाना होंगे, जहां वह ब्रिटिश प्रधानमंत्री थेरेसा मे के साथ 18 अप्रैल को द्विपक्षीय शिखर बैठक में भाग लेंगे।

वह अपनी यात्रा के दूसरे चरण के लिए लंदन रवाना होने से पहले मंगलवार देर रात स्टॉकहोम विश्वविद्यालय में भारतीय समुदाय के सम्मेलन में भी शामिल होंगे।

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